पिांगम
पदाई पर पदाई मक्षा बा रहा था कि इसी समय यापी बरकर में
प्लेग र निम्मा-बिससे एक साल प्रादमी मर गए।
विस समर थाना प्रभार मे चार सौ पुरतबार सैनिकों का
एक दस्ता, मिनमें प्रषिय राजपूत थे, और बारबरदारी के पचास
ऊँट र शम्भुमीकी परसनी, उस समय शम्मी सवार
मीतरी विनोहर रोपे। सम्मुधी ने अपने विरोधियों मेवामोरे
वर किया। फिर मी म्पपरपा बिगर ही पी। एक बा मी
पल पल पा पाकिसम्ममी पस कर दिया बाय और गया
गम को प्रकार के संरक्षण में गद्दी पर बैठा दिया जाय। पर पाक्न
घट यया और सम्मुमी मे सब विद्रोहियों को निर्दयतापूर्ण मतदार
दिगा! इसी समय पनि कम उतो मुंह पर गय और यम्मुमी
दिनोदिन निश्चमी वापरबार र मुरा और ममारियों में अपने
दिन पतीचमने बगा।
गोरस प्रकार एमवाया हो रही थी, भौरव मे यम्मुखी
पर भोर से पढ़ाई करने भ निश्चय रसिया। उपरती
सम्मुखीको पुर्तगालियों से भी उखमना पड़ा। इससे
उसकी पक्किों और मी दीप हो गई । पावारा प्रकार को अपने
मतपको इस करने की फि में था परन्तु सम्ममी से उसे कोई
हावामी मिश सीबी। गम्मुवी की अयोग्यता और गवार के
भरण उसके दरबारी, सरकार पर ही से उसके विपी हो गए में
और यो कसर रह गई थी उसे पक औरण की रिपतों ने पूरा कर
दिमा पा। परिणाम यह हुआ कि प्रोरसायन पावर सपा
मिलती पसी गई। एम्म भी फिर मी सावधान नहीं हुमा, म उसने
पोरगा इस बदवे हुए सतरे कई उपाप किया। उठो
सैनिक मुगड प्रदेशों पर पुर मार करते रो, परत इस सैनिक
पचिपति पर कोई प्रभाव नहीं पहन इन पोरी मोये दावों की तरफ
औरत मे पान दिया। उस मराठा राबा रिमाय में पौरखमेर
अवसर
में
पृष्ठ:आलमगीर.djvu/३४४
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