पृष्ठ:कंकाल.pdf/१९४

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तः मारा गया। है; परन्तु अपाय हो जाने पर है विनार करना उमज कार है। जावा है कि न्याय के लिए न्यायालय व प्रेत दृष्ट अर्थ है कि पिशी को दण्ड दे देता ! तु नये । पर यकीन अन्नाम नहीं कर गौ; परन है- के नियम उस भापति से नो क्या ग्वार । राय मो अपने आप में मेजर तुम दुसरा गाव खुटा जाता है और न्याय के रडार अपने भाग में है। यह एक पर स एरः ६५ औ बन्गा पौजिए कि उनका य इक आपत्ति भी पयोग न करे ! यदि आपके व्यवस्थित भारत में हो जा कर गाता है। प प्रश्न हो मु पो ६ किते हैं। मुशे और कुछ नहीं कहा है य प निर्भीक पुढो । हर हुए हो गई। न्यायाधीश दावो-इले ओठ दाधे हुए श गरे, जैमका थे । रासे बुलाने गये हैं: पुलिस ने दूसरे दिन हे ने आने की प्रतिज्ञा से है। दुर्गा नियम हैं, तो गला ! 7 तुम भी पड़ता कि अशो, इग विधि अभियोग को दे; परन्तु हि यहां गाठशारा भी तो देना है। अत्रौ बार मुई कई दिन सपे ! आरपर्य है परन्तु में रहता कि यह रजी अवश्य इस गुवर में प्रेम करती है, जिराने हत्या पी है। नैना तुमने कहा, उससे भी पढ़ी यह दूसरा युवक उसका प्रेग-पात्र है, जिप्त इ सताना चाहा था। गाजा ! पर मैं ना १ घनगर; पर है बात कुछ ऐसी ही । ससा वाम होता है कि है कि यह उभरी नगा--- मुद्धा है ! ओह ! अजय विजय और ममुना !---यही तो, मेरा गा मरत ५। ऐसा र हैं कि दुदम में एक अधिौ कर मगले पाप भोचने ! में न है म-.-'दो ! यो धौ है; एक हुलचत्र शहराया करती हैं, जिसके प्रत्येक कुछ नपुण घोपना रही है। ये पागलपन कुमार को का कर्तव्य, धर्म का र शौ थोर उभेदार से हँसने का वगाह देता है। संसार ही तो प्राय है। नी हौ सा दोग मउम पदी है और विश्वास होता है। गन, केले के पते कौ तर धन- कि रास्त भार अयो। भगत ! तुने उसे पाकर भी न पाना। न-ही, ह तिने मा, अनन्य नौ सा जद छाता है । गाभा पी । धन्यवा, विजय को और इतनी राय देने वाली राशनुमति देयों ? है...हां यह नि%ि है, यही रात्प है। शाह, , पूरुप-जोग : पन्छोर सत्य ! क्या इस जीवन में नारी के प्रव-दरा ३ रुप में मर तू कभी न मिचेगा? परन्तु हो, अल-हिर भित्र एवं अधिक -अधिक निरीह है । बाधा देने को गागम्य नही; अब भी उसे एक शरा है, एन गत है, पयो की पापट ने भी जुना कर के फतुर जाती है। अपनी सन्धि खौग है है है, और सज उसके रिए पप और है है, बह चलो हो री- एक गति है कर तू कभी न मिली इस जीवन में । बाधा देने की संतुी , अत- राहानुश्नति मेयों ? प्रत्यय-विरा

  1. काम : १९७५