पृष्ठ:काव्य-निर्णय.djvu/१९

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रा० पु०प्र०, राज्य पुस्तकालय, प्रतापगढ़,

वे०, वेंकटेश्वर प्रस बंबई की मुद्रित प्रति.

व्यं० म०, व्यंग्याथै मंजूषा, ला० भगवानदीन,

०नि०, शृगार निर्णय, भिखारी दास, भारत जीवन प्रेस काशी,

शृं ल० सी०, शृगार लतिका मौरभ, द्विजदेव, इडियन प्रस प्रयाग,

प० रि० ह०, पट ऋतु हजारा, परमानंद सुहाने, नवल किशोर प्रेस लग्वनऊ,

सं० पु० प्र०, संमेलन पुस्तकालय प्रयाग,

सं० भा०, संजीवन भाष्य, ( बिहारी सतसई की टीका ) पं० पद्मसिंह शर्मा,

सु ति०, सुदरी तिलक, भारतेंदु बा० हरिश्चद्र संग्रहीत, ग्वड्गविनास प्रेस पटना,

मुं० स०, सुदरी संग्रह, मथुरा का छपा,

सु• म०, सुदरी सर्वस्व, पं. मन्नालाल कृत संग्रह, काशी का छपा,

सु० स० सूक्ति सरोवर, ला० भगवान दीन,

ह. ह०, हफीजुल्लाह खाँ का हजारा, नवल किशोर प्रेम लम्बन ऊ,