पृष्ठ:गुप्त-निबन्धावली.djvu/३७०

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हिन्दी-अखबार बात लिखते हैं, राजा साहबको उन पर ध्यान देकर अपने लिखनेकी चालको सुधारना चाहिये। हम देखते हैं कि अंगरेजी । और E दोनोंके लिये हिन्दोस्थानमें 'य' लिग्वा आता है । Manager में दो बार । है । इमीसे हिन्दोस्थानमें दो बार य लगाकर 'म्यन्यजर' लिखा जाता है। Editor में ]: है, वह 'यडिटर' लिखा जाता है। Assistant में दो । हैं, वह 'यसिस्टयण्ट' लिखा जाता है। So11 में है, वह 'स्यलफ' लिग्वा जाता है। क्या राजासाहब कृपा करके बता सकते हैं कि ' और A का वह एकहीसा उच्चारण किस कायदेसे करते हैं। और राजा माहबके लिखनेकी रीति मान लेनेसे लोग उक्त दोनों अक्षरोंके उच्चारणका भेद कैसे जान सकंगे ? 'य' वर्णमालामें अलग अक्षर है और उसका अलग उच्चारण है। जब इस अक्षरको राजा साहब अंगरेजीके लिये छीन लगे तो जहां इसका असली काम पड़ता है, वहां क्या किया जायगा। फिर A और । स्वर हैं और य व्यञ्जन । संस्कृतके स्वरही अंगरेजी स्वरोंके लिये बर्तावमें लाना उचित है। व्यञ्जनको नाहक स्वर बना कर व्यतिक्रम क्यों किया जाता है ? ऐसे और स्वरोंकी जगह भी राजा साहब व्यञ्जनसे काम लेने लगे हैं । अर्थात् () की जगह "व" लिखने लगे हैं । जैसे prc- prietor को 'प्रवप्यूटर' । हम समझ गये हैं कि राजा साहवको तीन-चार स्वरोंकी जरूरत पड़ी जिनमें 'ए' 'ऐ' और 'ओ' की जरूरतने उनको यह सब उलट पलट करनेका ध्यान दिलाया है। पर यह जरूरत समझदार लोगोंने भली भांति मिटा दी है । अंगरेजी और दूसरी भाषाओंसे बहुतसे शब्द ऐसे आ मिले हैं, जिनसे उक्त तीनों स्वरोंका पूरी तरह उच्चारण नहीं होता, आधा होता है। Self और Editor में 'ए' का आधा उच्चारण होता है और Manager शब्दमें 'ऐ' का आधा उच्चारण। इसी प्रकार और बाकीका भी समझ लेना चाहिये। यदि हिन्दोस्थानका यह लिपि-वैचित्र्य अंगरेजी शब्दों तकही सीमा- [ ३५३ ]