पृष्ठ:चंद्रकांता संतति भाग 1.djvu/३८

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पीछे खड़ी है? वह तो हिन्दुआनी है!

"मेरे पीछे दूसरी औरत कहाँ से आई!" ताज्जुब से पीछे फिर आनन्दसिंह ने देखा। उस नालायक को मौका मिला, खिड़की के अन्दर हो झट किवाड़ बन्द कर दिया।

आनन्दसिंह पूरा धोखा खा गए, हर तरह से हिम्मत टूट गई–लाचार फिर उसी पलंग पर लेट गये। भूख से आँखें निकली आती थीं, खाने-पीने का सामान मौजूद था मगर वह जहर से भी कई दर्जे बढ़ के था। दिल में समझ लिया कि अब जान गई। कभी उठते, कभी बैठते, कभी दालान के बाहर निकल कर टहलते, आधी रात जाते-जाते भूख की कमजोरी ने उन्हें चलने-फिरने लायक न रखा, फिर पलंग पर आकर लेट गये, और ईश्वर को याद करने लगे।

यकायक बाहर धमाके की आवाज आई, जैसे कोई कमरे की छत पर से कूदा हो। आनन्दसिंह उठ बैठे और दरवाजे की तरफ देखने लगे।

सामने से एक आदमी वहाँ आता हुआ दिखाई पड़ा, जिसकी उम्र लगभग चालीस वर्ष होगी। सिपाहियाना पोशाक पहने, माथे पर त्रिपुण्ड लगाये, कमर में नीमचा खंजर और ऊपर से कमन्द लपेटे, बगल में मुसाफिरी का झोला, हाथ में दूध से भरा लोटा लिए आनन्दसिंह के सामने आ खड़ा हुआ और बोला-

"अफसोस, आप राजकुमार होकर वह काम करना चाहते हैं जो ऐयारों-जासूसों या अदने सिपाहियों के करने लायक हो! नतीजा यह निकला कि इस चाण्डालिन के यहाँ फँसना पड़ा। इस मकान में आए आपको कै दिन हुए? घबराइये मत, मैं आपका दोस्त हूँ, दुश्मन नहीं!

इस सिपाही को देख आनन्दसिंह ताज्जुब में आ गए और सोचने लगे कि यह कौन है जो ऐसे वक्त में मेरी मदद को पहुँचा! खैर, जो भी हो, बेशक यह हमारा खैरख्वाह है, बदख्वाह नहीं।

आनन्दसिंह-जहाँ तक खयाल करता हूँ, यहाँ आये दूसरा दिन है।

सिपाही-कुछ अन्न-जल तो न लिया होगा!

आनन्दसिंह-कुछ नहीं।

सिपाही-हाय! राजा वीरेन्द्रसिंह के प्यारे लड़के की यह दशा! लीजिए, मैं आपको खाने-पीने के लिए देता हूँ!

आनन्दसिंह-पहले मुझे मालूम होना चाहिए कि आपकी जाति उत्तम है और मुझे धोखा देकर अधर्मी करने की नीयत नहीं है।

सिपाही–(दाँत के नीचे जुबान दबाकर) राम-राम! ऐसा स्वप्न में भी खयाल न कीजिएगा कि मैं धोखा देकर आपको अजाति करूँगा। मैंने पहले ही सोचा था कि आप शक करेंगे, इसीलिए ऐसी चीजें लाया हूँ जिनके खाने-पीने में आप उज्र न करें। पलंग पर से उठिए, बाहर आइए।

आनन्दसिंह उसके साथ बाहर गए। सिपाही ने लोटा जमीन पर रख दिया और झोले में से कुछ मेवा निकाल उनके हाथ में देकर बोला, "लीजिए इसे खाइए और (लोटे