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चन्द्रगुप्त
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कल्याणी—परन्तु तुम कौन हो—(ध्यान से देखती हुई)—मैं तुमको पहचान.........

चन्द्र॰—मगध का एक सँपेरा।

कल्याणी—हूँ! और भविष्यवक्ता भी।

चन्द्र॰—मुझे मगध की पताका के सम्मान की ........

कल्याणी—कौन? चन्द्रगुप्त तो नहीं?

चन्द्र॰—अभी तो एक सँपेरा हूँ राजकुमारी कल्याणी!

कल्याणी—(एक क्षण चुप रहकर)—हम दोनों को चुप रहना चाहिये! चलो!

[दोनों का प्रस्थान]