पृष्ठ:धर्म्म पुस्तक.pdf/१८७

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३३ पब्बै ४। डाला॥७॥ को पुस्तक । अबिरहाम और इज़हाक और यअकब से यह कहके मैं ने किरिया खाई है कि में उसे तेरे वंश को देगा । २। और मैं तेरे माम्ने दूत भेजंगा और कनानियों और अमूरियां और हिनियों और फर जियां और हवियां और यमियों को हांक देऊंगा। ३। एक देश में जहां दूध और मधु कहता है क्योंकि मैं तेरे मध्य में न जाऊंगा इस लिथे कि तुम लोग कठार न हो कि मैं तुन्हें मार्ग में भस्म कर डालूं ॥ और जब लोगों ने यह बुरा ममाचार सुना तो विलाप किया और किमी ने अपना श्राभूषण न पहिना ॥ ५। क्योंकि परमेश्वर ने ममा से कहा कि इसराएल के संतान से कह कि तुम एक कठोर लोग हो मैं तेरे मध्य एक पलमात्र में आके तुझे भस्म करूंगा इस कारण अपना आभूषण उतारो जिमनें मैं जानूं कि तुम से क्या करूं ॥ ६ । तब इसराएल के संतानों ने हारेब के पहाड़ पर अपना त्राभूषण उतार ७। और मूमा ने नंबू ले के छावनी के बाहर दूर खड़ा किया और उम का नाम मंडली का तंबू रकवा और यों हुआ कि हर एक जे। परमेश्वर का खाजो था सो भेट के तंबू के पास जो छावनी के और यां जया कि जब मूमा बाहर तंबू के पास गया तो सब लोग खड़े हुए और हर एक पुरुष अपने नंव के द्वार पर खड़ा होके मूसा के पीछे देखता था यहां ले कि बुह तंबू में गया ॥ ६ । और जब भूसा ने तंबू में प्रवेश किया तो मेव का खंभा उतरा के द्वार पर ठहरा और उस ने मूमा से बानी किई ॥ १० ॥ और समस्त लोगों ने मेव का खंभा तंब के द्वार पर ठहरा हुआ देखा और सब के सब अपने अपने तंब के द्वार पर उठे और दंडवत किई ॥ ११॥ और परमेश्वर ने मसा से अाम्ने साम्ने बानी किई जैसे कोई अपने मित्र से वानी करता है और बुह छावनी को फिरा परनु उस का सेवक नून का बेटा यहूसूअ एक तरुण मनुष्य तंबू के बाहर न निकला ॥ १२ । फिर ममा ने परमेश्वर से कहा कि देख तू मुझ से कहना है कि उन लोगों को ले जा और मझ नहीं बताया कि किसे मेरे साथ भेजेगा तथापि तू ने कहा है कि में नाम सहित तुझे जानता हूं और नू ने मेरी दृष्टि में अनुयह पाया है। १३ । सो यदि में ने तेरी दृष्टि में [A. B. S.] बाहर था जाता था। ८। और तबू 23