पृष्ठ:धर्म्म पुस्तक.pdf/६३३

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१२ पद] ४। को २ पुस्तक! और उसोही का कौर खाती और उसी ही के कटोरेसे पीती थी और उभ की गोद में सोती थी और उम के लिये कन्या के ममान थी। और उम् धनमान के पास एक पथिक आया नव उस ने उस के लिये सिङ्ग करने को अपने ही मुंड और अपने ही ढोर को बचा रक्खा परंतु उस कंगाल की पठिया लिई और उम परुष के लिये जो उस पास आया था पकवाया ॥ ५। तब दाजद का क्रोध उस पुरुष पर बहुत भड़का और उस ने नातन से कहा कि परमेश्वर के जीवन से जिस पुरुष ने यह काम किया सा निश्चय मार डालने के योग्य है ॥ ६ । और वुह पठिया चौगुनी उसे फेर दे इस कारण कि उस ने ऐमा काम किया और कुछ मया न किई ॥ ७। तब नालन ने दाऊद से कहा कि बुह पुरुष त हो है परमेश्वर इसराएल का ईश्वर यों कहता है कि मैं ने तुझे इसराएल पर राज्याभिषेक किया है और मैं ने तुझे साजल के हाथ से जुड़ाया ॥ ८। और मैं ने तेरे खामी का घर तुझे दिया और तेरे खामी की स्त्री को तेरी गोद में दिया और इमराएल और यहूदाह का घराना तुझो दिया और यदि यह घोड़ा था तो मैं तुझे ऐमी वैसी वस्तु भी देता।। तू ने क्यों परमेश्वर कौ अाज्ञा की निंदा किई कि उस की दृष्टि में बुराई करे तू ने हिली जरियाह को खग से मरवाया और उस की पत्नी को लेके अपनी पत्नी किया चौर उसे अम्मून के संतान के खड्ग से मरवा डाला। १.। दूम लिये अब तेरे घर से खड्ग कधी जाना न रहेगा इस कारण कि तू ने मुझे तुच्छ किया और हिती जरियाह की पत्नी को लेके अपनी पत्नी किया। ११ । परमेश्वर यो कहता है कि देख मैं तेरे हो घर से तुझ पर बुराई उभारूंगा और मैं तेरी आंखों के आगे तेरी पत्नियों को लेके तेरे परोसी को देऊंगा और वुह दूम सूर्य के माम्ने तेरी पत्नियों के साथ अकर्म करेगा॥ १२ । क्योंकि ने विप के किया पर मैं यह मारे दूसराएल के साम्ने और सूर्य के माम्ने करूंगा। १३ । तब दाजद ने मातन से कहा कि मैं ने परमेश्वर का अपराध किया और नातन ने दाऊद से कहा कि परमेश्वर ने भी तेरे अपराध को दूर किया तू न मरेगा। १४ । तथापि इस काम के कारण से तने परमेश्वर के बैरियों को उस की अपनिंदा करने का कारण दिया खड़का भी जो तेरे लिये उत्पन्न है निश्चय मर जायगा । [A. B. S.] 79