पृष्ठ:प्रेमचंद रचनावली ५.pdf/४७८

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478:प्रेमचंद रचनावली-5
 

"पुलिस वालों ने कई आदमियों को मार डाला। अब नहीं रहा जाता, मैं इस घोष को मजा चखा देना चाहता हूं। | "आप कुछ भंग तो नहीं खा गए हैं? भला यह रिवाल्वर चलाने का मौका है। "अगर यों न दोगे, तो मैं छीन लूंग। इस दुष्ट ने गोलियां चलवाकर चार-पांच आदमियों की जान ले ली। दस-बारह आदमी बुरी तरह जख्मी हो गए हैं। कुछ इनको भी तो मजा चखान्य चाहिए। मरना तो है ही।" मेरा रिवाल्वर इस काम के लिए नहीं है।' | आत्मानन्द यों भी उदंड आदमी थे। इस हत्याकांड ने उन्हें बिल्कुल उन्मत्त कर दिया था। बोले--निरपराधों का रक्त बहाकर आततायो चला जा रहा है, तुम कहते हो रिवाल्वर इस काम के लिए नहीं है। फिर किस काम के लिए हैं? मैं तुम्हारे पैरों पड़ता हूं भैया, एक क्षण के लिए दे दो। दिल की लालसा पूरी कर लें। कैसे-कैसे वीरों को मारा है इन हत्यारों ने कि देखकर मेरी आंखों में खून उतर आया ।। सलीम बिना कुछ उत्तर दिए वेग से अहिराने की ओर चला गया। रास्ते में सभी द्वार बंद थे। कुत्ते भी कहीं भागकर जा छिपे थे। एकाएक एक घर का द्वार झोंके के साथ खुला और एक युवती सिर खोले, अस्त व्यस्त कपड़े खून से तर, भयातुर हिरनी-सी आकर उसके पैरों से चिपट गई और मेहमी हुई आंख से द्वार की ओर ताकती हुई बोली-मालिक, यह सब सिपाही मुझे मार डालते हैं। सलीम ने तसल्ली दी–घबराओ नहीं। घबराओ नहीं। माजरा क्या हैं? युवती ने डरते-डरतें बताया कि घर में कई सिपाही घुस गए हैं। इसके आगे वह और कुछ न कह सकी। 'घर में कोई आदमी नहीं है। "वह तो भैंस चराने गए हैं। “तुम्हारे कहां चोट आई है? मुझे चोट नहीं आई। मैंने दो आदमियों को मारा है। उसी वक्त दो कांस्टेबल बंदूके लिए घर से निकल आए और युवती को सलीम के पास खड़ी देख दौड़कर उमके केश पकड़ लिए और उसे द्वार की ओर खींचने लगे। सलीम ने रास्ता रोककर कहा–छोड़ दो उसके बाल, वरना अन्छा न होगा। मैं तुम दोनों को भूनकर रख दें। एक कांस्टेबल ने क्रोध-भरे स्वर में कहा–छोड़ कैसे दें? इमे ले जाएंगे साहब के पास। इसने हमारे दो आदमियों को गंडासे से जख्मी कर दिया। दोनों तड़प रहे हैं। तुम इसके घर में क्यों गए थे? ‘‘गए थे मवेशिपों को खोलने। यह गंड़ासा लेकर टूट पड़ी। युवती ने टोका-झूठ बोलते हो। तुमने मेरी बांह नहीं पकड़ी थी? सलीम ने लाल आंखों से सिपाही को देखा और धक्का देकर कहा-इसके बाल छोड़ हम इसे साहब के पास ले जाएंगे। "तुम इसे नहीं ले जा सकते।