पृष्ठ:भारत के प्राचीन राजवंश.pdf/२६७

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मारत पोचीन राजवंश१ उसके दो ताम्रपत्र ईमेले -पहली उसके राज्य कीसरे वर्षका दूसरा चौदहवें वर्ष का । अबुलफज़रूलें, इसकी जगह, सदानका १८ वर्ष राज्य करना लिसा हैं। | २-इनीजमाधव । अबुलफजलने सदासेन३ पीछे नोनाका राजा होना लिप्ता है। घर काही झारिका में कैशलेम नाइ नुनमाथा ( दनुजमन या इनीज माघव ) का नाम दिया है। तारीख फॉरेनशाहीमें हमाका नाम उनुजय हिंस्रा है। ये तीनो नाम सम्मवत' एक ही पुरुषके हैं। ऊपर लिखा जा सुका है कि अबुलफनल्ने इसको नोना लिखा है। अतएव या तो अबुलफजलने ही इसमें गलती की होगी या उसकी रश्चित माईने अक्षरी अनुजाने ।। घट्टेको झारिकासे इसकी प्रती होनः सिद्ध होता है। उनमें यह भी देखा है कि हमनसे सन्मानित बटुतसे ब्राह्मण इसके पास आये थे, जिन द्रव्या देहुत फूछ सन्मान इमने किया था। | इरानै कायस्य कुलीनता बनी रहने के लिए, घटक अादिक नेयुक्त कारके, इचप प्रबन्ध किया था। कमपुरको झेडकर चन्द्वीप ( नाकला ) में इसने अपनी राजधानी कायम की । इसके (s मप्र छोडनेहा फार नोंका भय ही मालम होता है। लखनहीका हाकिम मुसुधन तुमच्छ, विद्यारसे बगावत का, का स्वतन्त्र स्वामी चन देश । सन देहीकै बादशाह बलबनने उस पर म्याई छ । उच्च घर पाने ही सुगठ बनती छोड़ कर भाग गया । चाशने इसका पीछा किया। इस दमय रातमें हैं मुमत्र ) ११ ) ॥ 4 5 vol 4 () IT A 4,vl LX, L'att IP ! ।