पृष्ठ:भारत के प्राचीन राजवंश.pdf/३६९

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भारतके चिन राजवंश परिशिष्ट । धौलपुरकै चौहान | वि० सं० ८९८ । वैशाख झा २ का एक ट्रेन धलिगुरसे मिट है। यह चौहान राजा पंढ महासेन समयङ्का है । इसमें वहाँ चोहानांकी वंशावली इस प्रकार व है:-- | १ ईमक, ३ महिंशराम ( इसकी स्त्री कृगा इस पीने सती हुई थी , ३ महासेन । भड़ौचके चौहान ।। वि० ० ८१३ का एक ताम्रपत्र मच ( मुजरात ) में मिला है। उसमें वहाँकै चािकी वैज्ञाय इस प्रकार दी है - १ मधाम, २ भीमदाम, ३ भर्तृवृद्ध प्रथम, १ हदम, ५ मुमद ( यह दामझा छोटा भाई था ), ६ मई द्वितीय ( यह गायलोकका सामन्त और मइँचको राजा था)। | इस पृम चौहानके वंशजका राज्य छोटा उदयपूर, थरिया, सीरोहीं, बूंदी र कोटा न पाँच स्थान में है। इनमें पहले की तीन यासह की सम्वन्य तो साभरड़ी मुख्य शतासे तटीया जा चुका है और बाकी व रियासतको सम्वन्ध मी मूता नैपसी'रुपात र कृर्नड टीद आदिके आधार पर नादौलकी शाखाकी ही उपशामें मत होत हैं। इन एक पूजा नाम राज था। उसके नाम अपभ्रंश | ये । होदा चोहान नाम] प्रसिद्ध मर ।