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मिश्रबंधु

मिश्रबंधु-विनोद नाम --(२०११) गणपतराव, महाराष्ट्र-प्रांत । ग्रंथ- स्फुट। कविता-काल-सं० १९०६ । विवरण----यह नासिक के निवासी थे । कीर्तन किया करते थे। नाम-~(२०११) दत्तनाथ, महाराष्ट्र-प्रांत । . ग्रंथ -स्फुट । कविता-काल-सं० १८६० । मृत्यु-काल विवरण-यह महीपतिनाथ कवि के समकालीन थे ( देखो नं. ८)। इनकी मृत्यु १३६ वर्ष के उपरांत हुई । भालेजीराब का कथन है कि इनका मठ अब तक उज्जैन में बना हुआ है, जहाँ से महादाजी शिंदे-कुत 'कवितासार-संग्रह', 'साधव-विलास-नामक ग्रंथ उन्हें पहले पहल प्राप्त हुआ था। नाम-( २०११) नागजी औदीच्य गाधड़, गुजरात-प्रांत । काल-सं० १६०६ ( 'सौराष्ट्र-इतिहास' से)। ग्रंथ-कुंडलिया-ग्रंथ । नाम--(२०११) प्रागनि कवि। रचना-काल-सं० १६०६ । ग्रंथ भ्रमर-गीत । 'विवरण- [---उक्त रचना ग्रजभाषा में है। महात्मा सूरदास ने सबसे प्रथम भ्रमर-गीत रचा था, और उनके पश्चात् नंददास, वृदावनदास, रसिकराय आदि कवियों ने भी इसी विषय पर रचनाएँ की हैं। नंददास-कृत भ्रमर-गीत बहुत प्रसिद्ध रचना समझी जाती है । तुलनात्मक दृष्टि से श्रापका भी भ्रमर-गीत हिंदी-साहित्य