पृष्ठ:योगवासिष्ठ भाषा (दूसरा भाग).pdf/९६७

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की. ९, , जाहिरात. नामपुस्तक. उपनिषद्, द्वितीय--सर्वोपनिषद्, तृतीय-तत्त्वयोगोपनिषद्, चतुर्थ-योगशिखोपनिषद्, पञ्चम-तेजविंशतोपनिषद्, भक्तिपदार्थ, मनविकृतकरण, श्रीब्रह्मज्ञानसागर, शब्दवर्णन और भक्तिसागर ये हैं, ग्लेज ... ... १-१२ तथा रफ ... ... ... ... ... ... ... १-२ योगतत्त्वप्रकाश-भाषामें अत्युत्तम योगमार्ग वर्णित है ... ०-३ योगमार्गप्रकाशिका-अर्थात् योगरहस्य भाषाटीका सहित .... ... .. ... ... ... ... १०-८ योगविव-भाषाटीकासमेत ... ... ... ... ... ०-४ योगकल्पद्रुम--भाषाटीका सहित ... ... ... ... १-० योगसमाचारसंग्रह-डाक्टर गोविन्दप्रसाद भार्गवनिर्मित । इसमें-राजयोग, हठयोग, स्वरोदयसार, स्वास्थ्यरक्षाकै स म्पूर्ण नियम, ब्रह्मज्ञानसाधन विधिसहित उक्त सभी विषय हैं ०वैशेषिकदर्शन--( कणादमुनिप्रणीत) तथा भाषाटीकासहित. ०-८ शिवसंहिता--भाषाटीकासहित । इसमें-शिवजीसे कहा योगोपदेश, ब्रह्मज्ञान, हठयोगक्रिया तथा राजयोगादिका वर्णनहै. ... ... ... ... ... ... ... १--१ शिवस्वरोदय-भाषाटीकासहित । इसमें-स्वरोका और इडा, पिंगला,सुषुम्णा नाडियोंसे प्रश्रादि और राजयोग, हठयोग, प्राणायामादि पंचतत्त्वोंके जाननेकी विधि भली प्रकार वार्ष्णेत है; ... ... ... ... ... .. १८ षट्चक्रनिरूपण--संस्कृत-- ... ... ... ... ... 0--८; संपूर्ण पुस्तकों का वडा सूचीपत्र अलग है )॥ भेजकर मॅगाओ. पुस्तक भिलनेका ठिकानाखेमराज श्रीकृष्णदास, *श्रीवेङ्कटेश्वर' (स्टीम्) प्रेस-बम्बई.