पृष्ठ:रक्षा बंधन.djvu/१५०

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तीसरा पुरुष---यहाँ से कहीं टल चलना चाहिए।

स्त्री---कहाँ चला जाय-सभी जगह तो हवाई हमले हो रहे हैं।

दूसरा---किसी देहात में चला जाय। हवाई हमले केवल शहरों पर होते हैं।

स्त्री---मेरी समझ में नहीं आता कि सन्धि क्यों नहीं कर ली जाती।

पहला---सन्धि को नाम न लेना! हमारा फ्यूहरर विजय के लिए लड़ रहा है।

स्त्री--विजय! विजय के तो कोई लक्षण दिखाई नहीं पड़ते।

पहला---दिखाई कैसे नहीं पड़ते---शत्रुओं की विजय के लक्षण तो दिखाई पड़ने लगे हैं।

स्त्री---तो उससे हमें क्या सरोकार, हमें तो अपनी विजय से सरोकार है।

पहला---वह सरोकार क्यों नहीं, पहले हम अपनी विजय के लिए लड़ रहे थे--अब शत्रुओं की विजय के लिए लड़ रहे हैं।

स्त्री---शत्रुओं की विजय कैसी? तुम न जाने क्या कह रहे हो।

पहला---अब हम इसलिए लड़ रहे हैं कि शत्रुओं की विजय न होने पावे---अब समझी! हा! हा! हा!

स्थान---एक जर्मन अस्पताल

(एक जख्मी जर्मन सैनिक सन्निपात में बक रहा है)

एक डाक्टर तथा दो नर्स खड़ी हैं।

जख्मी सैनिक---ओफ! कितनी सर्दी! मैं गला जा रहा हूँ। वह देखो मेरी उंँगलियाँ गल कर गिर गई---मैं बन्दूक कैसे चलाऊँगा। मुझे बचाओ। इस सर्दी से बचाओ। ( कुछ क्षण चुप रहकर ) हिटलर कहाँ है---उसे पकड़ कर मेरे सामने लाओ। उसी पिशाच ने हमें इस मुसीबत में डाला है। हिटलर को पकड़ लाओ---अभी लाओ।

डाक्टर---बड़ी बुरी बात है।

एक नर्स---इसी तरह बकता है।