पृष्ठ:संकलन.djvu/१०९

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द्वारा वायु की गति का पता लगानेवाले इस बात का निश्चय न कर द कि समय अच्छा है, वायु-गति व्योमयान की यात्रा के मुवाफ़िक़ है और आँधी-पानी की सम्भावना नहीं। बहुधा व्योमयान के उड़ने के निश्चित समय में, वायु गति के बदल जाने अथवा दुर्दिन हो जाने के कारण, फेर-फार भी करना पड़ता है। दफ्तर के बाहर कितने ही चित्र लटके रहते हैं जिनमें व्योमयानों के किसी झील, नदी अथवा पहाड़ पर उड़ने का दृश्य अङ्कित रहता है। वहीं पर एक कर्मचारी मौजूद रहता है। यात्रियों के यात्रा-सम्बन्धी प्रश्नों के उत्तर देना ही उसका काम है।

व्योमयान के यात्री अपने साथ अधिक असबाब नहीं रखते। प्रत्येक यात्री अपने साथ हलका बेग, ओवरकोट, तसवीर खींचने का केमेरा आदि थोड़ी सी छोटी चीजें मुफ्त ले जा सकता है। अधिक असबाब होने से किराया बहुत देना पड़ता है। अधिक कपड़े साथ रखने की भी इजाज़त नहीं। दो हज़ार फुट ऊपर अवश्य कुछ सर्दी मालूम पड़ती है, परन्तु इतनी अधिक नहीं कि साधारण कपड़ों के रहते विशेष कष्ट हो। हवा की कमी नहीं होती; उसका प्रवाह किसी मुख्य दिशा की ओर नहीं होता। सौ फुट ऊपर ही सूर्य की प्रखरता लोगों की आँखों को चौंधिया देती है। इसी लिए यात्री लोग चौड़े किनारे को टोपियाँ लगाते हैं, जिससे नेत्रों की रक्षा

होती रहे।

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