पृष्ठ:हस्तलिखित हिंदी पुस्तकों का संक्षिप्त विवरण.pdf/१७०

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सं०वि० राजनीति (1-30) रामामिड-सोनाम गरेशा पर सिंह के राननीविविस्वार-जमुराम त, नि० का १० पिता स० १६०० के सपमा वर्तमान थे। १८१४, बिक रामा, रामी राजमार, मत्री -प्राविका पर्णमा २० (-११) रामसित (राणा)-मेपा के राणामवान रामजीवि दिवोपदेशबाट लिoto सिंह पूर्वमपे।दे० (-२) १०१ वि० पजनीति । ३० (च-३६) रामाराम-बेसार निशाप्ती, जाति के कापस रामपाण--कोधित (मति मिप्र) छत भीपापस०१-०६ के लामा पर्नेमामा निकास.पि. राजनीति यसम। संभवता प्रायानाथ के पिया।२० (घ-५३) २०(८-१२५) पप शिलीमायादे०(8) सामयोग-मर भनम्य (अनम्प) कता लि राजाराम पापमाप के पिता, महोवा (वेस स.१८१४दूसरी प्रति का सि. का.स. 3) निवासी थे।(ये और परिसीयादी १६३५, वि• रामपर्म वर्णन। १० (८२पी) कपा के एमपिता एक दी जाम परदे है)२० (च-२) पगरिनोद-पमा इमान ता कि | राजाराम-जाति के मारप) ० १३० के पूर्व विहार पर्सग। दे० (-२२५)(मापकर्ण वर्तमान पीकानेर के दीवान के पुत्र थे, १० के काम में मूस) (-४३ सी) शिवप्रसाद के पिठा।३०(म-२५) रामरिनोद-गोरेशात पुरादित (ma) मदिरामाराम--10वी शवामी के पूर्व परीमाम मन्त्रको कम्पनीमा का वर्णनादे(६-४३ सी) इनरु यिषप में और भी शान मही। (क-२२८) (सम्परा गाम में मत।) पर चामिका दे० (-1) रामरिनोद मायमाथ गन, वि० स्कुट कविया रामाराम-रायो रारष मिपासी| R० १५. मगमग धमाग, दुर्गाप्रसद कवि के भाप्रप रोजविद्धास-बीमाए या निकासा पाता, जाति के प्राह । (-१) जोधपुर-मया महाराम पमसारणा रासा-याणा नि० का० स० केराम्य विस्तारपूर्वक पना. (ग-२) १९७१-१६७५, लिहा0 80 १६४॥ सरी गमसिंह (रामा)-पार (पाद) मरण पदिका सिका० सं० ११ पि० राषा ०१७६३-E0मदायत प्रतापसिंह धोर प्रकार बारमाह के युद, सापतसिह (मागास ) मोर मुंदरिपरि वगतसिंहपौर धमसिंहके चरित्र, पायदा रेपिटायो यूर कवि से हमोंने कविता करना चौहान और सम्म पुर तथा कर्ण-बति सीवा था 120(त-६५) का अपहा (क) र पानापरदे० (ग-1) रापार-~-R० मगमा परीमान, बारित २० (-3) सयपुर मियासी गौ माक्षण, जयपुर के राज्यका