पृष्ठ:हिंदी विश्वकोष भाग ३.djvu/५५४

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औंकात-औरा ५५३ और सत्यान्त दो नाम अधिक लिखे हैं। मातृका- औंठ (हिं. स्त्री०) मुंडा या चढ़ा हुआ शेर, उठी न्यासमें अधोदन्तन्यास करनेको विधान रहनेसे हई किनारी। 'अधोदन्त' भी कहते हैं। २ धातुका एक अनुबन्ध । औड़ (हिं. पु. ) बेलदार, जमीन खोदनेका पेशा "चौरचिट।" (कविकल्पद्रुम) करनेवाला। ... (पव्य.) ३ आहान, पुकार, परे, ए। ४ सम्बो-पौंडा (हिं० वि०) गभौर, गहरा, खुदा हुआ। धन। ५ विरोध। ६ निर्णय। ७ शूद्रोंका प्रणव । औंडाई (हिं० स्त्री.) गाभीर्य, गहराई । औंदना (हिं.क्रि.) १ उमदाना, मस्त बन जाना। "चतुर्दशखरो योऽसौ सैतुरौकारसंजितः । स चानुसारनादाभ्यां शूद्रायां सेतुरुच्यते ॥" (कालिकापुराच) २ घबराना, होश न पाना। ३ खाना, उड़ाना। जौंदाना (हिं.क्रि.) उकताना, घबराना। प्रौकार नामक चतुर्दश स्वर अनुस्वार स्वर- पौध-१बम्बई प्रान्तके सतारा विलेका एक ोटा विशेषसे शूद्रोंका सेतु कहाता है। राज्य। यह अचा. १८६१५“एवं १८३४१ (पु.) ८ पनन्त । ८ निखन। (स्त्री) उ. और देशा० ७.१४१तथा .. ." १० पृथिवी। पू. के मध्य पवस्थित है। चेवफल ४४८ वर्ग मौल भौंकात (हिं.) औकात देखो। है। लोकसंख्या प्रायः ५४ हज़ार है। गई, बार, पौंगको (हिं० पु.) वानरविशेष, किसी किस्मका दाल, रूई, गुड़, घी और सेनकी उपज है। राजा लंगूर। इसका निवासस्थान सुमात्रा होप है। पोत बाधव। लोग उन्हें पन्व-प्रतिनिधि कहते हैं। वर्णमें नौल वर्णको कुछ प्राभा झलकती है। ओंगको उता उपाधि शिवाजीके समयसे चला पाता है। बम्बई- अपनी मादाको कभी नहीं छोड़ता। पदको पङ्गुलि सरकार पौधके राजाको दक्षिणवाले श्म श्रेणीके संयुक्त रहती हैं। स्वभाव कोमल और भीक है। सरदारों में समझती है। २८० पैदल पर सवार किन्तु इसकी पटुता जगत्प्रसिद्ध है। यह मिब्बन | रहते हैं। राजाको गोद लेने का अधिकार है। जातिके अन्तर्गत पड़ता है। २ उस राज्यका प्रधान नगर। भोगना (हिं. क्रि०) ओंगना, तेल देना। औंधना (हिं. क्रि.) १ पौधा होना, मुंहके बल ओंगी (हिं० स्त्री०) मौन, ख.मोशी, चुप । पड़ना। २ पौंधा कर देना, मुंहके बस डालना।। भौंघ (हिं. स्त्री.) घोंघाई, नौंद पानेकी हालत। प्रौधा (हिं. वि.) १ विपरीत, उसटा, मुंहक पौधना (हिं. क्रि०) पोंधाना, निद्राके वशीभूत बस पड़ा हुषाः। “चौंधा नसीब कटे परम।" (खोबोषि) होना, नौंदसे मांखे खोलना-मूदना ! २ पशुह, टेढ़ा। (कि. वि.) ३ विपरीत भावमें, पौंधाना, पौधना देखो। उलटकर। . (पु.) ४ मूखे, बेवकूफ। ५ बौखा, पौंधाई, औंध देखो। इन्नती, बवेसिया। ओंजना (हिं.क्रि.) घबराना, उकताना। औंधाना (हिं. को०) १ उलटाना, मुंहले बच्च औंटन (हिं० पु.) १ पहुंटा, चारा काटनेको गिराना। २ खाली करना, उडेलना। लकड़ीका एक टुकड़ा। २ पौंटाई, पागपर चढ़ा दूध औंधी-मध्य-प्रदेशके चांदा जिलेको ब्रह्मपुरीवासीलका वगैरह गाढ़ा करनेका काम। एक राज्य । क्षेत्रफल २१ वर्ग मील है। इसमें कोई जौंटना (हिं. क्रि०) १उबलना, आगके बोरसे २५ गांव बसते हैं। लोकसंख्या १०हज़ारसे अधिक है। खौलना। २ जलना, क्रोधसे भस्मीभूत होना। ओंना-पौना (हिं. वि.) १ चतुर्षी शरहित, चार ३ उबालना, जमाना, पागपर चढ़ा किसी पतली | पाने कम। चौजको गाढ़ा बनाना। 1ौरा, पौला (हिं.) पामयको देखो। Vol. III. 139