पृष्ठ:हिन्दी विश्वकोष अष्टादश भाग.djvu/८८

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· ·६५ मुद्रायन्त्र संख्या निकल आयेगी । गेजके अनुसार प्रत्येक पेज | परिमाण करनेका उपाय नहीं है। . एक हिन्दी साट ठीक करके उसके वर्गइञ्च परिमाणको निकाल कर उसमें अच्छी तरह संगठन करने में प्रायः १० सेरसे २ मन तक ४से भाग दे । भागफल जो होगा वही हरफका मोटा- | अक्षरकी आवश्यकता होती है। हिन्दी Job वा पेजके मोटी पौंड वजन समझा जायगा । इस प्रकार किसी फूटनोट आदिके लिये थोड़े अक्षरोंका व्यवहार करनेसे एक बड़े साटमें सैकडे पोछे ३०से ४० और छोटे साट | भी काम चलेगा। किन्तु एक फर्माके लिये विभियर, में ५० भाग हरफ मान लेनेसे न्युनाधिक्य नहीं रहता। वर्जाइस, लोंग प्राइमर, स्मालपाइका, पाइका आदि अङ्ग्रेजी हरफ प्रधानतः ८+४ इञ्च पेजके आकारमें अक्षरोको एकसे दो मन तक जरूरत होती है। इसी मुड़ाई हो कर विक्री होते हैं। उनमेंसे प्रत्येकका वजन परिमाणका अनुसरण करके पुस्तक छापनेके लिये ८ पौंड होता है। हरफके वोडी अनुयायी हरफ खरीदने होते हैं। अर्थात् इस प्रकार फैन्सी टाइपकी तालिका ( bills ol फर्मका Matter तैयार हो सके, ऐसा एक साट fancy types ) प्रस्तुत करनेमें लोअर केश और ! लेनेसे स्मालपाइका ७४१. म= em. मन हरफ लेना कैपिटलके संख्यानुसार एक साट वनाना होता है। होगा। पोछे लेखकके भाषाग्रन्थनकालमें जिस जिस अर्थात् ३६ A और ७० १ ले कर जो सार वनाना होगा| अमरका अभाव होगा उसको एक स्वतन्त्र तालिका उसमें ६००, ७०, ३२ m, १०५, ४२ E, ३६ , २० I, वना कर उस अभावको दूर करना चाहिये। ४८, ५० कमा, १ से ० तक प्रत्येक १६ तथा अन्यान्य स्मालपाइको वोडीका २ मन एक हिन्दी हरफके • फीगर प्रत्येक १२ करके रहेगा। इस प्रकार एक साट- । साटमें क ख आदि मुदाक्षर जिस परिमाणमें आवश्यक का वजन प्रधानतः हरफके आकारके ऊपर निर्भर करता! हो सकता है केसके घरों के प्रति लक्ष्य करनेसे उसका है। एक १५ A, ४५ ॥ पाइका कण्डेन्सड लाटिन ३] बहुत कुछ आभास मालूम हो जाता है। क, द, म, स, पौंड तथा १५, ३० a पाइका वाइड लाटिन ७ पौंड | अ, त, र, य आदि ऽ१ सेरसे सवा पाव तक करीव तक वजनका होता है। ऽ१. सेर ; व, ल, ह, , , य, व, प, यो आदि करीव ____ काठके फैन्सी अक्षरोंकी इसी प्रथासे डजनके हिसाव. जा. सेर, अपर तथा दाप और वार' छोटे छोटे घरोंका . से सार बनानेकी व्यवस्था की गई है। एक १३ उजन युक्ताक्षर ५ वा ६ करके अथवा प्रायः आधसे चार कैपिटल और लोअर केसके साटमें निम्नलिखित अक्षर, छटांक लेनेसे भी काम चल जायगा। मुद्रकको चाहिए, रखनेसे ही काम चल सकता है। कि वे अपने अपने निर्वाचित इस प्रकार एक साटकी A B D E F G H I J K L IN OPQ RS तालिकाके अनुसार ही अक्षरोंका संग्रह करें। दो मनसे ३२२ २ ४ २ २२३२२३२३३२१३३ एक साटके हिसावसे वे पहले १॥ वा ॥ मन देवें। TU V W X Y Z& ३२२२१२१२ पोछे जैसे जैसे काम लगता जाय वैसे वैसे मंगाते a bcde f g hi jk 1 m n जाय। 8 ३३३५३३३४२२४ ३४ पेज वांधनेके समय दो हरफकी लाइनको परस्पर opqrst urwxyz अलग रखनेके लिये सीसेका जो पत्तर काममें लाया ४ ३१४ ४ ४३२२ २३१ जाता है उसे 'Lead' कहते हैं। लेड यद्यपि हरफसे ff fi fnt e !? .:.'- ११११११३४४२४३२३ पतला होता है, तो भी दोनोंकी एक वर्गइश्च तील इसी प्रकार उजन सारकी अंक संख्या--- समान अर्थात् ४ औंस होती है। क्योंकि लेडमें कुल १२३४५६७८० मिला कर २० भाग एण्टिमनि और ७० भाग सीसा ६ ३ ३ ३ ३ ३ ३ ५२५ होगी ।

रहता है। हरफकी धातुमें इससे भारी अन्यान्य मिश्र-

हिन्दी अक्षरमालाओंका ऐसा कोई एक निर्दिष्ट | धातुका भी समावेश देखा जाता है। Val, xvill. 22