पृष्ठ:हिन्दी विश्वकोष षष्ठ भाग.djvu/६९

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खेटक-खड़ग्रह्म वाम के लिये कुपपास्त्र का खेट १२ घन सत्तम, ३ पूना जिलाके अन्तर्गत एक नगर। भीमा नदीके १० पान मध्यम और पंगुन मिट होता है। वांये किनारे अक्षा० १८. ५१ उ. और देशा० ७३ किन्तु बनवान के लिये वर २०, १८ पौर १६ अंगुन ५५ पू० पर अवस्थित है। लोकसंख्या ३८.३२ है। राने में यथाक्रम रत्तम, मध्यम तथा निकष्ट कहा है। यहां पर म्य निसपालिटी, डाकघर, औषधालय, बन देवकी गदा। कफ, बलगम। १. घोट., तहसीलदारी और पुलीम अदालत हैं। यहांको आस घोड़ा। (वि.) ११ सुनिन्दक, बुराई करनेवाला। पामको जमीन लेकर खेड़ ग्रामका क्षेत्रफल लगभग ११ धम, कमामा। १० धनगृहजीवी, सूदखोर । २० वर्गमील होगा। इस ग्राममें बहुतसी प्राचीन १४ भक्षक, खा डासनेवाला। कीर्तियां पड़ी हैं। जिनमेंसे भीमा नदी किनारे सिडे वर- खेटक (म0पु0) खेट स्वार्थ कन। १ प्रामविशेष, । का मन्दिर, दिलावर-खोंकी ममजिट और कब्र देखने किसानों का गांव। २ फलक, ठान। ३ प्रस्त्रविशेष, लायक है। कोर हथियार। ४ धनषिजीवी, सूदखोर। ४ बम्बई प्रदेशके पूना जिन्लेका एक ताल का। यह खेटको ( म० ए० ) १ ज्योतिषी, भडगे। २ शिकारी। अक्षा० १८३७ तथा १८ १३ उ० और देशा• ७३ ३ वधि , बलिया। ३१ एवं ७४१० पू०के मध्य अवस्थित है। इमका खेटाङ्ग ( स०५०) खेटमङ्ग यम्य, बहती। उप क्षेत्रफल ८७६ वर्गमील और लोकसंख्या प्रायः १५६२७५ द्रावक जन्तुविशेष, अपदेवता। (काशौख रड १३५०) है। उत्तर और दक्षिणको २ बड़ी गिरिशे गियां लगी खेटितान ( स० ५.) खेटि: कानोऽस्य, खिट-नन्, । हैं। अधिकांश भूमि लाल या भूरी है। जलवायु बाती। मालिक । म धारणत: अच्छा रहता है। खेटो ( स. १०) खिट-गिनि । १मागर। २ कामुक । खेडब्रह्म-गुजरातके माहीकांठा राज्यको एक तहसील खेट ( को०) तृण, खर, घाम । और थाना। यह ईदर नगरमे प्रायः ३० मील उत्तरको खेड ( क्लो०) गन्धरण, एक खुशबूदार घास । हरनाई नदीक दक्षिण तट पर अवस्थित और प्राचीन- खेड-१ बम्बई प्रेमिटेन्मोके अन्तर्गत रत्नगिरि जिल्ला कालको एक पुण्यक्षेत्र रहनके लिये सुप्रसिद्ध है। यहां का एक पविभाग। यह अचा० १७३३ एवं १७ बहुतसे पुराने मन्दिरोंका ध्व'मावशेष देख पड़ता है। ५४७. और देगा० ७३२० सथा ७३ ४२ पू०के ब्रह्मपुराणके मतानुमार ब्रह्मान वहां अपने आपको पापों- मध्य प्रवस्थिम है । इसके उत्तर में कोनाग जिला पूर्व में से मुक्त करना चाहा था। विष्णुने पूछने पर उन्ह सातारा जिल्ला, दक्षिण में विद्यम्न म पौर पश्चिममें दाफो चमके लिये जम्ब होपके भरतखण्डमें किमी पवित्र स्थान ली है। क्षेत्रफल ३८२ वर्ग मोस । लोकसंख्या ८५५८४ पर जा यज्ञानुष्ठान करनेकी मम्मति दी। ब्रह्माके है।य १४६ गाव मे हैं। या धान्यादि शापार आदेशमे विश्वकर्मान आबू पहाड़मे दक्षिण मावरमतोके नानाप्रका. मटर होम है। यहां तीन थाना और दाहने तट पर ४ कोम घेरेका एक नगर बनाया था। दा फोजद में प्रदान है। गजख ८२... रु. वह स्वर्णप्राचीरवेष्ठित और २४ हारयुक्त रहा। हिर देना पता ण्यात (हरनाई) नदी उसमें प्रवाहित होती थी। फिर २ उक्त खेड़ उपविभागका प्रधान नगर । यह उन्होंने यसके लिये ८००० ब्राह्मणांकी सृष्टि की। यज असा० १७ ४३ उ०, ओर देशा० ७३. २४ पू०में पूर्ण और पाप दूर होने पर ब्रह्मान अपने ब्राह्मणांकी जगवदी नदो किनारे अवस्थित है। इसकी चारो रक्षाके लिये १८००० वैश्योंको उत्पादन किया और तरफ पाहाड़ है। लोकसंख्या प्रायः ५०५३ है। यहां ब्राह्मणीसे कहा तुम मेरे उद्देशर्म एक मन्दिर बनावो डाकघर, पाठयाला और सराय हैं। नगरके पूर्वमै तीन | और उसमें मेरी चतुर्मुज मूर्ति लगावो। पत्थरके मन्दिर है, जिनमें कई एक कुष्ठरोगी रहते हैं। बहुतसे मन्दिर वर्तमान नगरको सीमाके भीतर ही