पृष्ठ:सम्पूर्ण गाँधी वांग्मय Sampurna Gandhi, vol. 20.pdf/३५३

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भाषण : बम्बईकी सभामें ३२३ है कि वे कांग्रेसके आदेशकी उपेक्षा नहीं करेंगे। हम अन्य प्रान्तोंसे ४० लाखकी उम्मीद कर सकते हैं और बाकीका ६० लाख आप लोग बम्बईमें पूरा करें। मुझे पूरी आशा है कि आप इस रकमको इकट्ठा करने की भरसक कोशिश करेंगे और इस तरह देशकी प्रतिष्ठाको रक्षा करेंगे। हमने बेजवाड़ामें जो शपथ ली थी, आज उसे पूरा करनेका अन्तिम दिन है और यदि आज राततक यह धन नहीं प्राप्त किया जा सका तो सारे भारतकी आँखें नीची होंगी। आज तो राष्ट्रका सम्मान व्यापारियोंपर निर्भर है। धनके मामलेमें सिर्फ वे ही मदद कर सकते हैं। मेरे जैसे भिखारीसे तो कोई आर्थिक मददकी आशा नहीं की जा सकती। भाषण समाप्त करते हुए उन्होंने ईश्वरसे प्रार्थना की कि वह आवश्यक धन मुहैया करके देशकी प्रतिष्ठा बनाये रखनेकी सामर्थ्य प्रदान करे। [अंग्रेजीसे] बॉम्बे क्रॉनिकल, १-७-१९२१ १४५. भाषण : बम्बईकी सभाम' ३० जून, १९२१ महात्माजीने कहा कि बम्बईमें स्त्री-पुरुषों में जो जोश मैंने देखा है, उससे मुझे भविष्य आशामय लगता है और मुझे उम्मीद है कि हमने जो शपथ कलकत्तामें और फिर दुबारा नागपुरमें ली थी, उसे हम पूरा कर सकेंगे। मुझे इस वक्ततक ठीक नहीं मालूम कि देशमें कितना रुपया चन्देमें आ चुका है। परन्तु केवल कुछ ही मिनट पहले मुझे सूचना मिली है कि काठियावाड़में दो लाखसे ज्यादा चन्दा हो गया है और आज सुबह एक सज्जनका भेजा हुआ २५,००० रुपयका चैक मुझे मिला है। हमें काठियावाड़से ५०,००० रुपये से ज्यादाको आशा नहीं थी। मैं जो-कुछ देख रहा हूँ, उससे आशा होती है कि एक करोड़ जमा हो जायेगा। परन्तु मैं इस सम्बन्धमें निश्चित रूपसे जानना चाहता हूँ और इसलिए बम्बईके कुछ मिल-मालिकोंसे आश्वासन चाहता हूँ कि यदि अपेक्षित रकम जमा न हो सकी तो वे कमीको पूरा कर देंगे। मुझे पूरी आशा है कि इस तरहका आश्वासन मिल जायेगा। आगे बोलते हुए उन्होंने कहा कि इस अवसरका लाभ उठाकर मैं कुछ शब्द महिलाओंसे अपने देशके हृदयमें पैठे हुए विश्वास और उसकी प्रतिष्ठाके विषयमें कहूँगा। जैसा कि सभी लोग जानते हैं स्त्रियां ही हम लोगोंके विश्वासको न्यासी हैं और राष्ट्रकी अन्नपूर्णा हैं। राष्ट्र सशक्त या आदर्श राष्ट्र केवल तभी हो सकता है जब हमारी महिलाएं पूर्णतया धार्मिक और देशभक्त हों। फिलहाल तो भारतीय महिलाओंकी पवित्रता और उनका धर्म १. न्यू चिंचवन्दरमें मांडवी हलकेकी कांग्रेस समितिके तत्वावधानमें तिलक स्वराज्य-कोषके लिए चन्दा करनेके लिए शामको की गई एक सभामें । Gandhi Heritage Portal