पृष्ठ:धर्म्म पुस्तक.pdf/३५२

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मूसा को पांचवीं पुस्तक जो विवाद को कहातो है। १ पहिला पब । वे बातें हैं जिन्हें मसा ने यरदन के इस पार अरण्य में लाल समुद्र के सन्मुख चौगान में फारान और तोफा और लाबन और हसौरात और दोजहब के मध्य में इसराएल के संतानों से कहा ।। २। हरिब से कादिशबरनौलो और पर्वत के पथ से ग्यारह दिन का मार्ग है॥ ३ । और एसा हुआ कि चालीसवें बरस के ग्यारहवं माम को पहिलो तिथि में उन समस्त आज्ञाओं के समान जिन्हें परमेश्वर ने उसे दिई थौं जिसने दूसराएल के संतानों से कही जबि ममा ने उन्हें कहा। ४। उस के पौछ कि उस ने अमरियां के राजा सेहून को आ हमबन में रहता था और बासान के राजा जज को जो इसतारात और अदिबई में रहता था बधन किया॥ ५। यरहन के इस पार मोअब के चौगान में इस व्यवस्था को बर्णन करना प्रारंभ किया और कहा ॥ ६। कि परमेश्वर हमारा ईश्वर हरिब में हमें यह कहके बोला कि तुम इस पहाड़ पर बहुत रहे॥ ७॥ फिरो और यात्रा करो और अमूरियों के पहाड़ को और उस के समस्त परोसियां में जाओ चौगान में पहाड़ों में और तराई में दक्षिण में और समुद्र के तौर कनानियों के देश को और लुबनान को महानदी परात ले जाओ। ८। देखा मैं ने आगे का देश तुम्ह दिया प्रवेश करो और उस देश पर जिस के विषय में परमेश्वर ने तुम्हारे पितर अबिरहाम और इज़हाक और यअकूब से किरिया खाई कि तुम्हें और तुम्हारे पीछे तुम्हारे वंश को देऊंगा अधिकार में ले। है। और