पृष्ठ:रेवातट (पृथ्वीराज-रासो).pdf/४५६

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साँखल (प्रदेश) ७२ साँभर ५,६,२४ (संभल), २५, ४५, ६२,७३ साधारण (जाति) ५ सामंतसिंह ६८ सानंद १५७ सामुद्रिक शास्त्र ५४ सायण १७० सारंग ८४ ६१ १२३-२४ सारंग दे ७२,६३ (सारंगदेय) ( २१८ ) सुमेरु ११३-१४, १७६, १७७ सुरभि १४ ( सुरह ), १५, २५०, १७२ सुरराज ३ सुरलोक १५१ सुरूप १७२ सुलख प्रमार ३२, १६, १००- १०२, १२४, १५२ मुलिवन १६४ सुलेमान १६६ सारंग सोलंकी ६०-६२, ११६, १२३ सालवाहन ४५, १६४ सिंघ ३१,४६,११३ सिंधिया ११६ सिंधु (नद) ४४, १५८, १६६ सिंहन (प्रथम) १६२ सिंहन (द्वितीय) वा त्रिभुवनमल्ल १६२ सिंहवाह (जाति) ११६, १२३ सिंहवाहिनी (दुर्गा) १९६ सिक्ख ११३ सिद्ध ६४ सिसोदिया १२० सिल्ल १२० सीता १७३ सुंदरकांड ३७ सुदामा ३ सुधर्मा ३ सुपार्श्व (पर्वत) १७६ सुपूर ११६ सुबुक्तगीन १५७ सूतपस ६, सूरजप्रकाश १८ सूरजमल ६६ सूर्य ( ग्रह ) ३७ सूर्य (देवता) ५६ सूर्यमल्ल मिश्रण म सूर्यलोक ६६-१००, ११४, १२८- ४०, १५२ १७७ सेही ( प्रदेश ) १२० सैन सूरी १५७-५८, १६४ सैंटर्न ५५-५७ सोम १७१ सोमनाथ १५६ सोमेश्वर २, ५० ५१,६२,८४, १५.१ सोलंकी ७३८४१०६, १०६, १६४ सौराष्ट्र १५६ स्कंद १६८ स्कंदपुराण १७३ स्काट १६३ स्पेंस हार्डी १३६ स्यालकोट १६४