तारीखवार जीवन-वृत्तान्त ५९७ जून २५ : गांधीजीने तार द्वारा गृह-सचिवसे पूछताछ की कि संसदके स्थगित हो जाने- पर सरकारका प्रवासी विधेयकके बारेमें क्या इरादा है और अस्थायी समझौतेका भविष्य क्या होगा । जून २६ : फ्रीडडॉ स्थित बाड़ोंके यूरोपीय स्वामियोंको तीन मासके अन्दर एशियाई कब्जेदारोंको अपने बाड़ोंसे निकालनेके लिए दिये गये नोटिसोंके बारेमें गांधीजीने द० आ० ब्रि० भा० समितिको तार द्वारा सूचना दी। तमिल कल्याण समितिकी बैठक में प्रवासी विधेयकपर भाषण दिया । जून २७ : प्रवासी विधेयकको स्थगित कर देनेसे उत्पन्न स्थितिपर विचार करनेके लिए केप ब्रिटिश भारतीय संघकी बैठक । जून २८ : गांधीजी तथा कस्तूरबाका डर्बनको प्रस्थान | जून २९ : डर्बन पहुँचे । दाउद मुहम्मद तथा अन्य हज यात्रियोंकी विदाईके अवसरपर डर्बनमें भाषण । जून ३० : एच० एल० पॉलकी डर्बन स्थित भारतीय शैक्षणिक संस्था में पुरस्कार वितरण समारोहकी अध्यक्षता की। जुलाई ३ : गांधीजी द्वारा दाउद मुहम्मदको मक्का जाते समय विदाई | एच० एस० एल० पोलकने नेटालमें भारतीयोंकी शिक्षाके सम्बन्धमें भारत सर- कारको लिखा । जुलाई ५ : डर्बनसे जोहानिसबर्गके लिए प्रस्थान । जुलाई ६ के पूर्व : सर्वोच्च न्यायालयने बाक्सबर्ग बाड़ोंसे सम्बन्धित मामलेमें एल० डब्ल्यू० रिच तथा भायातके विरुद्ध निर्णय दिया । रिचको आदेश दिया कि वे बाड़ोंका कब्जा सौंप दें और भायातको बेदखल कर दें । जुलाई ६ : कज़िन्स नेटालमें कार्यवाहक प्रवासी अधिकारी नियुक्त । गांधीजीने पत्र लिखकर ई० एफ० सी० लेनसे पूछा कि प्रवासी विधेयक तथा अस्थायी समझौतेके भविष्य के बारेमें सरकारके क्या इरादे हैं । जुलाई ७ : डर्बनसे जोहानिसबर्ग पहुँचे । जुलाई ११ : एशियाई पंजीयक, एम० चैमनेसे मिले । जुलाई १३ : 'इंडियन ओपिनियन' में डॉ० म्युरिसनके इस वक्तव्यकी आलोचना की कि भारतीय झूठ बोलनेके आदी होते हैं । भारतीय पत्नियोंके प्रवेशके सम्बन्ध में साक्ष्य निर्धारित करते हुए नेटालके प्रवासी अधिकारी कज़िन्स द्वारा जारी किये गये परिपत्रकी निन्दा की । नेटाल भारतीयोंको सलाह दी कि वे अधिवासी प्रमाणपत्रोंके बन्द कर देनेके विरुद्ध संघर्ष करें । जुलाई १६ : कार्यवाहक गृह-सचिवने सूचना दी कि सरकार आगामी अधिवेशन में संशो- धित विधान पेश करेगी; इस बीच वर्तमान विधानका प्रशासन चालू रहेगा । जलाई १७ : गांधीजीने उत्तर देते हुए गृह-सचिवको लिखा कि सन्तोषजनक विधान पास होने तक अस्थायी समझौते के चालू रहनेके बारेमें उन्हें ज्ञात हो गया है, Gandhi Heritage Portal
पृष्ठ:सम्पूर्ण गाँधी वांग्मय Sampurna Gandhi, vol. 11.pdf/६३५
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