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२८२. पत्र: चम्पारनके जिला मजिस्ट्रेटको

मोतीहारी
अप्रैल १७, १९१७

जिला मजिस्ट्रेट

मोतीहारी

महोदय,

चूँकि अधिकारियोंको सूचित किये बिना में कोई काम नहीं करना चाहता हूँ, इसलिए आपको इत्तला दे रहा हूँ कि (अगर मुझपर कल अदालतमें हाजिर होनेके लिए सम्मन जारी न हुआ) तो मैं कल सुबह शामपुर तथा उसके समीपवर्ती गाँवों में जा रहा हूँ। हम लोग ३ बजे प्रातःकाल चल देंगे।

कल मेरे देखनेमें यह आया कि हम लोगोंके पीछे-पीछे एक पुलिस अधिकारी लगातार चल रहा था। मैं निवेदन करना चाहता हूँ कि हम लोग अपना सारा काम बिलकुल प्रकट रूपसे करना चाहते हैं और इसलिए मैं अपनी तथा अपने साथियोंकी ओरसे कहना चाहता हूँ कि वैसे तो हम अपने काममें पुलिसवालोंकी सहायता तक की इच्छा करते हैं; किन्तु वह सम्भव न हो तो हम अपना काम करते समय उनकी उपस्थितिका स्वागत तो करेंगे ही।

आपका आज्ञाकारी सेवक,
मो० क० गांधी

गांधीजीके स्वाक्षरोंमें मूल अंग्रेजी पत्र (नेशनल आर्काइव्ज ऑफ इंडिया) से। सिलेक्ट डॉक्यूमेंट्स ऑन महात्मा गांधीज मूवमेंट इन चम्पारन, सं० २३, पृष्ठ ६७ से भी।

२८३. प्राप्ति स्वीकार

अप्रैल १७, १९१७

जिला मजिस्ट्रेटकी ओरसे एक पत्र प्राप्त हुआ।

मो० क० गांधी

गांधीजीके स्वाक्षरोंमें तारीख और सही किये हुए मूल अंग्रेजी पत्र (नेशनल आर्काइन्ज़ ऑफ इंडिया) से।