पृष्ठ:हिंदी शब्दसागर भाग 10.djvu/३४६

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मुगवित्रिफला ६०६६ सुगाध 1 नगवित्रिफला-सा सी० [स० सुगन्धिनिफला] जायफल, सुपारी और सात मात्राएँ और अत मे एक गुरु होता है। इसे शुभगति लोग इन तीनो का समूह । भी कहते हैं। ३ कल्याण । सुख (को०)। ४ सुरक्षित आश्रय सुगविनी-सशा स्त्री० [सं० सुगन्धिनी] १ आरामशोतला नाम का या शरण (को०)। शाक जिसे सुनदिनी भी कहते हैं । २ पीली केतकी। सुगति--वि० १ मुदर गतिवाला किो०] । २ जिसकी स्थिति सुदर हो। सुगविपुप्प---मज़ा पुं० [स० सुगन्धिपुष्प] १ धाराकदव । केलिकदव। सुगति'--सज्ञा पु० एक अर्हत् का नाम । २ वह फूल जिसमे सुगधि हो । खुशबूदार फूल । सुगन-मज्ञा पु० (देश०] छकडे मे गाडीवान के बैठने की जगह के सुगधिफल--सशा पुं० [स० सुगन्धिफल] शीतलचीनी । कवाब सामने आडी लगी हुई दो लकडियाँ, जिनकी सहायता से वैल चीनी। ककोल। खोल लेने पर भी गाडी खडी रहती है। सगविमाता-तशा स्त्री० [स० सुगन्धिमातृ] पृथिवी । सुगना'-सज्ञा पु० मि० शुक, हिं० सुग्गा] तोता । सूत्रा। सुगधिमुग्तक - सज्ञा पु० [स० सुगन्धिमुस्तक] मोथा नामक घास की सगना--सज्ञा पु० दे० 'सहिजन' । एक जाति [को०] । सुगभस्ति-वि० [स०] १ दीप्तिमान् । प्रकाशमान । चमकीला । २ सुगधिमूत्रपतन-सज्ञा पुं० [सं० सुगन्धिमूत्रपतन] दे० 'सुगधमूत्रपतन' । सुदर गभस्तिवाला । कुशल हाथोवाला । गधमार्जार। सुगम--वि० [स०] १ जो सहज मे जाने योग्य हो। जिसमे गमन मुगधिमूल-सञ्ज्ञा पु० [स० सुगन्धिमूल] १ खश । उशीर। २. करने में कठिनता न हो। २ जो सहज मे जाना, किया या मूलिका । मूली (को०)। पाया जा सके। आमानी से होने या मिलनेवाला। सरल । सुगधिमूषिका - सशा स्त्री॰ [स० सुगन्धिमूषिका] छडूंदर । सहज । आसान । सगधी-वि० [स० सुगन्धिन्] जिसमे अच्छी गध हो। सुवासित । सुगध- सुगम-सज्ञा पुं० एक दानव का नाम किोला । युक्त । खुशबूदार। सुगमता--सज्ञा स्त्री० [स०] सुगम होने का भाव । सरलता। सुगधी-नशा पुं० एलुमा । एलवालुक । आसानी । जैसे,—यदि आप उनकी समति मानेगे, तो आपके सुगधी-सशा स्त्री० [सं० सुगन्धि] अच्छी महक । खुशबू । सुगधि । कार्य मे बहुत सुगमता हो जायगी। सुग'-सज्ञा पुं० [स०] १ सुख । २ गधर्व । ३ सन्मार्ग । उत्तम मार्ग । सुगम्य-वि० [स०] १ जिममे सहज मे प्रवेश हो सके। सरलता से ४ पुरीप । विष्ठा । मल [को०) | जाने योग्य । जैसे, -जगली और पहाडी प्रदेश, उतने सुगम्य सुग'-वि० १ सुदर । ललित । चारु । २ अच्छी चाल या सुदर नही होते, जितने खुले मैदान होते है । २ दे० 'सुगम' । गतिवाला । ३ सुबोध । सरल। ४ सुलभ । सुगम [को०] । सुगर'--मज्ञा पुं० [स०] शिंगरफ । हिंगुल । सुगठन-सशा बी० [हिं० सु+ गठन] १ सुदर गढन । उत्तम बना- सगर- वि० १ चतुर । कुशल । २ सु दर कठ या गलेवाला । ३ वट । सुघडता। २ शरीर की सुदर बनावट । अगसौप्ठव । सुडौल । सुघर । सुगठित -वि० [हिं०] १ सुदर गढन या बनावटवाला । २ गठा या कसा हुआ । ३ जिमके अग सौष्ठवयुक्त हो । सुगरूप--सज्ञा पुं० [देश॰] एक प्रकार की सवारी जो प्राय रेतीले देशो मे काम आती है। सुगए,-वि० [सं०] १ गणनाकुशल । गणित मे दक्ष । २ सरलता से गिनने योग्य (को०)। सुगर्भक--सज्ञा पु० [सं०] खीरा । त्रपुप । सुगएक-वि० [म०] अच्छा गणक या ज्योतिषी [को०] । मुगल-मज्ञा पु० [म० सु+ हिं० गल ( = गला)] बालि का भाई सुगएा-नशा सी० [सं०] स्कद की एक मातृका [को०] । सुग्रीव । उ०--पुनि पावस महं वसे प्रवर्षण वर्षावर्णन सुगत' ---तश पु० [स०] १ बुद्धदेव का एक नाम । २ बुद्ध भगवान् कीन्ह्यो। सरद मराहि सकोप सुगल पहँ लपन पठ जिमि के धर्म को माननेवाला। वौद्ध । दोन्ह्यो।--ग्धुराज (शब्द०)। सुगत'-वि०१ सद्गतिप्राप्त । २ सुदर गति या चाल से युक्त । ३ सुगवि--सज्ञा पु० [स०] विप्णपुराण के अनुसार प्रसुश्रुत के एक पुत्र सरल । आमान [को०)। का नाम । सुगतदेव-लशा पु० स०] बुद्ध भगवान् । सुगहन--वि० [स०] अत्यत गहन । घोर । निबिड या घना [को०)। सुगतगासन--सया पुं० [स०] बुद्धमत । वौद्धसिद्धात (को०] । सुगहना--सज्ञा स्त्री० [स०] रे० 'सुगहनावृत्ति' । सुगतायन, सुगतालय-मा पु० [सं०] विहार । वौद्धमदिर। सुगहनावृत्ति--संज्ञा स्त्री० म०] वह घेरा या वाड जो यज्ञस्थल मे मृगति'. 1--नशा खो० [सं०] १. मरने के उपरात होनेवाली उत्तम अस्पृश्यो आदि को रोकने के लिये लगाई जाती है । कुबा । गति । मोक्ष । उ०-सबरी गीध सुसेवकनि सुगति दीन्ह सुगात्री-सज्ञा स्त्री० [स०] सु दर देहयप्टिवाली स्त्री किो०। रघुनाथ । नाम उधारे अमित खल वेद विदित गुन गाय। सुगाध--वि० [म०] १ (नदी) जिसमे सुख से स्नान किया जा सके, तुलसी (शब्द०) । २ एक वृत्त जिसके प्रत्येक चरण मे सात अथवा जिसे सहज से पार किया जा सके । २ जो कम