पृष्ठ:Songs and Hymns in Hindi.pdf/१५२

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१४४ सुसमाचार का प्रचार । शैतान की हरकत से हम हुए बद आमाल पर हमें ईसा ने फिर किया है बहाल आज ही को जान नजात की पान यह है मकबलियत का ज़मान । पस होवे हर कहीं इंजील का इतिहार हर मुलक में ज़ाहिर हां मसीह के ताबेदार आज ही को जान नजात की प्रान यह है मकवलियत का ज़मान ॥ ४ १४0 एक सौ चालीसवां गीत । 7, 6s. १ ग्रीनलेण्ड के मुलकर सर्द से और हिंद ओ चीन से भी और हबश से जहां चशमे बखश देसे ताजगी दरया मैदान पहाड़ से हर काम से हर जुबान लोग मिन्नत कर यह कहते दिखाओ राह आसमान ।