विकिस्रोत:आज का पाठ/२ दिसम्बर

विकिस्रोत से

Download this featured text as an EPUB file. Download this featured text as a RTF file. Download this featured text as a PDF. Download this featured text as a MOBI file. Grab a download!

मोपला आन्दोलन स्वामी सहजानन्द सरस्वती द्वारा रचित किसान सभा के संस्मरण का एक अंश है जिसका प्रकाशन १९४७ ई॰ में किया गया।


"बात असल यह है कि मालाबार के जमींदार ब्राह्मण ही हैं। उत्तरी मालाबार में शायद ही दो एक मोपले भी जमींदार हैं। और ये मोपले-गरीब किसान हैं। इनमें खाते-पीते लोग शायद ही हैं। इन किसानों को जमीन पर पहले कोई हक था ही नहीं और झगड़े की असली बुनियाद यही थी, यही है। यह पुरानी चीज है और शोषक जमींदारों के हिन्दू (ब्राह्मण) होने के नाते ही इन संघर्षों पर धार्मिक रंग चढ़ता है। नहीं, नहीं, जान-बूझकर चढ़ाया जाता है। १८८० वाले विद्रोह में मोपलों ने दो जमींदारों पर धावा किया था।..."(पूरा पढ़ें)