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पृष्ठ:प्रबन्ध पुष्पाञ्जलि.djvu/११

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प्रबन्ध-पुष्पाञ्जलि

शिक्षा

माँ-बाप का कर्तव्य

[१]

इंगलैंड में स्पेन्सर साहब एक नामी तत्त्ववेत्ता हो गये हैं। उनकी शिकायत है कि लोग उपयोगिता का कम ख़याल करते हैं, दिखाव का अधिक। शिक्षा के विषय में भी यही बात पाई जाती है। जैसी शिक्षा होती आई है वैसी ही लोग अपने बाल बच्चों को देते हैं। यह सिर्फ इसलिए कि और लोग उनकी सन्तति की प्रशंसा करें और उन्हें शिक्षित समझे। पर इस बात का लोग ख़याल नहीं करते कि जो शिक्षा मिल रही है उससे काम कितना निकलता है। स्पेन्सर ने वैज्ञानिक शिक्षा को प्रधानता दी है और बलाया है कि बिना इसके आदमी कोई काम---कोई