पृष्ठ:सम्पूर्ण गाँधी वांग्मय Sampurna Gandhi, vol. 37.pdf/३३८

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३२८. तार: वी॰ एस॰ श्रीनिवास शास्त्रीको

[२० सितम्बर, १९२८][१]

परम माननीय शास्त्री
प्रिटोरिया
कृपया अबूबकर की प्रिटोरियावाली जायदाद के मामले में कुछ दिलचस्पी लें। उनके भाई उमर झवेरी आपसे मिलेंगे। यह जायदाद १९०८ के पब्लिक सेटलमेंट का विषय थी। इसे अबूबकर के उत्तराधिकारियों के लिए बचाना चाहिए।

गांधी

अंग्रेजी (एस॰ एन॰ ११९६१) की माइक्रोफिल्मसे।

 

३२९. तार: उमर झवेरीको

[२० सितम्बर, १९२८][१]


उमर झवेरी
डर्बन
शास्त्रीजी को तार दे रहा हूँ। उनसे मिलिए।

गांधी

अंग्रेजी (एस० एन० ११९६१) की माइक्रोफिल्मसे।

 

३३०. पत्र: सी॰ एफ॰ एन्ड्रयूजको

सत्याग्रहाश्रम, साबरमती
२१ सितम्बर, १९२८

प्रिय चार्ली,

तुम्हारा पत्र मिला। इस संवैधानिक कमिशनमें मैं कोई दिलचस्पी नहीं ले रहा हूँ। कमिशनकी कही किसी भी बातमें मुझे कोई सचाई नहीं दिखाई देती। सर जॉन साइमनके पत्रोंसे झूठ ही ध्वनित होता है। और यदि वे जान-बूझकर ये झूठी बातें न कह रहे हों तो फिर यही मानना पड़ेगा कि उन्हें वस्तुस्थितिकी जानकारी बिलकुल ही नहीं दी जा रही है।

 

  1. १.० १.१ एक टाइप की हुई प्रति (एस॰ एन॰ ११९८७) से।