पृष्ठ:हिंदी विश्वकोष भाग ३.djvu/२५

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२४ इतरेास्-इतिवृत्त इतरद्युम् (सं० अव्य०) इतर-एस् । सद्यपञ्चदित्यादिना ।। प्रकार, इस तरह । १८ प्रकर्षमें, जोरसे । २० उपक्रम- या ५।३।२२ । अन्य दिन वा समय, दूसरे रोज या वक्त । पूर्वक, सिलसिले में। प्रकृत रूपसे इति शब्द कहै या इतरौहां (हिं० वि०) सगर्व, मगरूर, इतरानेवाला। विचार हुये विषयको बताता और पूर्वगामी शब्दपर इतलाक (अ० पु०) प्रार्थना, अनुसन्धान, अज, प्रभाव डालता है। ब्राह्मणमें यह श्रोताको समझी हुयी रीतिका स्मरण दिलाता है। उद्धत वाक्यमें इससे हवाला। इतलाक रखना (हिं० क्रि०) लगना, मिलना। प्रमाणित होता, पूर्व विषय किसी अन्य लेखक या इतली, इटली देखो। ग्रन्थकारका कहा है। कभी-कभी इति एक हो इतवरी ( हिं० ) इत्वरी देखो। विषयके विभिन्न शब्द जोड़ता है। किसी ग्रन्थकारके इतवार (हिं० पु०) आदित्यवार, एकशम्बा, एतवार । नाम में लगनेसे यह क्रियाविशेषण हो जाता है। इतश्चेतच (स अव्य.) इतश्च हित्वम् । इधर-उधर, (लो०) भावे तिन् । २१ गमन, चाल । २२ ज्ञान, इस तफ उस तः। समझ। २३ मुनिविशेष । "सन्तोषामतक्षानां यत् सुख शान्तचेतसाम् । इतिक ( स० त्रि०) इतं गतिरस्त्यस्येति, ठन् । १ गमन कुतस्तद्वनलुचानामितये तय धावताम् ॥” (हितोपदेश) विशिष्ट, चलनेवाला। (पु.) २ जातिविशेष । इतस् (स अव्य०) इदम् तसिल । १ इस स्थानसे इतिकथ (सं०नि०) इति इत्यं कथा यस्य, बहुव्री। यहां, इस जगह । २ इहलोकसे, इस दुनियासे। १अथद्धेय, न मानने लायक,। २ नष्ट, बरबाद। इतस्ततः (सं० अव्य.) इदम्-तद्-अमिल। नाना अर्थशून्य वाक्यका वक्ता इतिकथ कहाता है। स्थानपर, इधर-उधर, यहां वहां । इतिकथा ( स० स्त्री०) इति इस्य कथा। अर्थशून्य इताति (हिं.) इतायत देखो। कथा, बेहदी बात। इताब (अ.पु.) १ क्रोध, गुस्सा।२ निन्दा, मला- इतिकरण (सं० लो०) इति शब्द । मत, भिड़की। इतिकर्तव्य (स' त्रि०) इति इत्यं कर्तव्यम्, सुप्- इताब-खिताब (अ.पु.) क्रोधयुक्त शब्द, गुस्से की सुपा समा०। १ नियमानुसार करने योग्य, कायदेके बात। मुवाफिक किया जानेवाला। (ली. )२ धर्म, फर्ज। इतायत (अ० स्त्री०) अधीनता, मातहतो।। इतिकर्तव्यता (सं० स्त्री०) इतिकर्तव्यस्य भावः, इतायत करना (हिं. क्रि०) १ आज्ञा मानना, हुक्म | इति-कर्तव्य-तल-टाप। धर्म, फज, वाजिबात् । बजा लाना। २ आदर देना, झुकना। इतिकर्तव्यतामूढ़ (सं०वि०) आकुल, गूगा बना इताली, इटली देखो। हुआ, जिसे अपना काम विलकुल समझन न पड़े। इति (स अव्य) इ-तिन्। १ अतएव, इससे। इतिकार्यता, इतिकर्तव्यता देखो। २ इसी हेतु, इसी सबबसे । ३ प्रकाश्य रूपसे,खुले तौर इतिकृत्यता, इतिकर्तव्यता देखो। पर। ४ निदर्शनपूर्वक, देख-सुनकर। ५ प्रकार, इतिथ (वै०वि०) ऐसा-वसा, एक न एक। तरह। ६ अनुकर्षसे, पहली बातके मुवाफिक। इतिमात्र (संत्रि ) इति स्वार्थे मात्रच्। केवल ७ समाप्तिमें, पूरा होनेपर। ८ स्वरूप, जैसे। ८ प्रक इतना ही, इससे कम न ज्यादा। रमपूर्वक, हिकायतसे। १० सानिध्यमें, नजदीक। इतिवत (सं० अव्य.) एक ही प्रकार, एक ही ११ नियमपूर्वक, कायदेसे। १२ मतमें, रायसे। तरह। १३ प्रत्यक्ष, सामने। १४ अवधारणपूर्वक, सोच-समझ- इतिवृत्त (सं० लो०) इत्थं वृत्तम्, सुपसुपा समा० । के। १५ व्यवस्थासे, तजवीज़ करके । १६ परामर्श १ पुराणशास्त्र । २ ऐसा हो चरित्र, इसी किस्मका द्वारा, नसीहतसे । १७ मानपूर्वक, इज्जतसे । १८ इसी । हाल। ३ इतिहास, तवारीख । प्रतिहास देखो।