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टि०—केशवराय ने सं० १७५३ सें जैमुन की कथा लिखी थी। १६८२ ई० (सं० १७३९) इनका उपस्थिति काल है, जन्मकाल नहीं।

—सर्वेक्षण ६५

३०१. कनक कवि—जन्म १६८३ ई०।

श्रृंगारी कवि।
३०२. मनसुख कवि—जन्म १६८३ ई०।

हजारा।

टि०—१६८३ ई० (सं० १७४०) रचनाकाल है, जन्मकाल नहीं।

—सर्वेक्षण ६५६


३०३. मिसर कवि—जन्म १६८३ ई०।

हजारा।

टि०—१६८३ ई० (सं० १७४०) रचनाकाल है, जन्मकाल नहीं।

—सर्वेक्षण ६५७


३०४. रविदत्त कवि—उपनाम बाबू सवितादत्त, जन्म १६८५ ई०।

सत्कविगिरा विलास।

टि०—कवि का असल नाम सवितादत्त ही है, रविदत्त उपनाम है। सं० १७३५ में इन्होंने कृष्ण विलास की रचना की थी। अतः १६८५ ई० (सं० १७४२) इनका रचनाकाल है, न कि जन्मकाल।

—सर्वेक्षण ९०३


३०५. गोविंदजी कवि—१६९३ ई०।

हजारा।

टि०—१६९३ ई० रचनाकाल है। सरोज में इन्हें सं० १७५७ में डा० कहा गया है।

—सर्वेक्षण १७८

३०६. देवी वंदीजन—जन्म १६९३ ई०।

इन्होंने हास्यरस का एक ग्रंथ सूरसागर लिखा है।

टि०—ग्रंथ का नाम सुससागर है। इसकी रचना सं० १७९४ में हुई। १६९३ ई० (सं० १७५०) कवि का जन्मकाल हो सकता है।

—सर्वेक्षण ३६८


३८७. देवीराम कवि—जन्म १६९३ ई०।

शांत रस के साधारण कवि।
३०८. कुंदन कवि—बुंदेलखंडी। १६९५ ई० में उपस्थित।