पृष्ठ:हिन्दी विश्वकोष षष्ठ भाग.djvu/४९३

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et मारली-गैर गेंडुली (हि. स्त्रो० ) मेंडो देखो। होता है । यह विना बोये उपजता है, किन्तु कभी कभी गंती (हि. स्त्री० ) अवधर्म छोटी २ नदियों के किनारे और परके चरिके लिये वोया भी जाता है। इसमें काले रङ्गके नेपालको तराई में होनेवाला एक सरहका पेड़े इसके | दाने भी निकलते जो देखने में गेह के महश होते है। पत्ते चार पांच अंग लके चाई और लम्बे होते हैं। ग्रोम | (वि. ) २ मख. जब बेबकफ । , कालमें पीले रङ्ग के फलके गुच्छ भी इसमें निकलते हैं। मंगलापन (पिं० पु० ) मूर्खता, जड़ता, भौटूपन । गेंद (हिं० पु. ) गैरदेश। गेमुनिया ( देश ) गुल दुपहरिया। गेंदई (हि. वि. ) पोत रङ्गका गन्दा पुष्पके रङ्गका। (पु० गैटिस ( अनु० पु० ) घुटनेमे लेकर एड़ो तक पर ढ़ाक- गेन्दा पुष्य कामा पीत रंग। नेका एक आवरण जो कपड़े या चमड़े का बना रहता बाप.) गेंद, क्रिकेट, टेनिस खेल खेलना है, मोजा ।२ मोजा आदि बॉधनका ग्वर, कपड़े या चम- का स्थान, क्लव घर । २ अङ्गरेजके विलियर्ड नामक खेल | ड़े का फोता। खेलनेका मकान, विलियर्ड रूम । गड़ना (हिं० क्रिया० ) १लकोरमे घेरना । २ परिक्रमा गेंदतडी (हि. स्त्री. ) एक दूसरको गेंदसे मारनेका करना, चारों ओर घूमना । एक प्रकारका खेल। इस खेलमें लड़के आपसमें उमौको | गेड़ी ( हि स्त्रो० ) १ लड़कोंका एक खेल । २ इस खेलमें चोर बनाते हैं जिसको गेंद लगता है। रखनेको लकड़ी। गेंदवना ( हिं० पु० ) लकड़ीको एक पटरीसे गेंद मार- गेडो-बम्बई प्रान्तको काठियावाड़ एजेन्सीका चुद गज्य । नेका एक सरहका खेल। गेंदवा (हि० पु०) गेण्ड क, तकिया, वालिश, सिरहाना। राजा झाला राजपूतव गोयं हैं। लोकसंख्या ५७४ पोर प्राय ४५०० रु० है । १३३८) रु० वार्षिक कर वृटिश गेंदा (हि. पु० ) एक तरहका पौधा जो दो ढ़ाई हाथ | जचा रहता है और जिसमें पीले रङ्ग के पुष्प लगते हैं। गवर्नमेण्ट और जूनागढ़के नवाबको दिया जाता है। गेंदा फल दो तरहके होते हैं, एक 'जालो' जिसमें सिर्फ गेगड, ( सं० पु० ) गच्छति गम ड, गो गन्ता इन्दुरिव पृवो. चार पांच दल होते हैं, दूसरा आरा' जिसमें बहुत दल दरादिवत इकारस्य तत्वे साधु । गण्डक, गेंद। गगड क (सं० पु.) गेड स्वार्थ कन् । कन्दुक, कपड़े का राते है। फलके रंग भी कई तरह के होते हैं, कोई | गण्डक हलके पीत रंगकै, कोई नारंगो रंगके और कोई लाल बना हुआ गोलाकार खेलनेका पदार्थ, गेंद। . | गदा (हि. पु.) चिड़ियका छोटा बच्चा जिसे पर न रंगके होते हैं। में देके पत्तों को एक कर यदि फिटकि- निकले हो। रोके साथ पानी में उबाला जाय तो गधकीर .yापना | गेनुर ( देश. ) परीके धारके काममें पानेवाली एक हो जाता।२ पक प्रकारको प्रातिशवाजी ( Fire तरहको वारामासी घास। works) जिसके गुल गेंदेके फससे निकसतर ENT RA. मेप (सं.वि.) कापना, थरथराना। सवण या रोप्यका बना एक गोल घुमदार पार गेवा (देश) तानको कंघीकी तौलिया जो लकड़ीकी जो जाथन या वाजम घडीको जगा पर रहता भीर नौचे की ओर सटकता है। खिरीसम्मी फाहियोंकी होती यह सार्मिक सतको गेंदुवा (हिं. पु. ) हवा दे गो। . एक दमरेमें मिलजाने या उलझनेमे बनाती है। गेय ( म क्ली० ) गा-यत् । (बचो यत् । पा९७) १ गोल, .) वेशीको एकजाति। गेंदौरा (हि. पु. ) एक तरहको मिठाई, चीनीकी रोटी।। गान। ( त्रि.) २ गायक, गाने के योग्य, गामेके लायक। गेगम ( देश. ) एक धारीदार वस्त्र । गंगला ( देश. ) १ एक तरहका पौधा जो मसूरको जाति- | गयप्रिय ( सं० पुं० ) मुझरमुष्पवृक्ष, गन्धराजका पड़ । का होता और प्रायः ६००० फौटको अचाई पर उत्पन्न | गैर ( फा• पु० ) ग्रन्थि, गांठ, गिरहा। . .. भवण, गै दौडिर