पृष्ठ:आलमगीर.djvu/२५४

विकिस्रोत से
यह पृष्ठ अभी शोधित नहीं है।

मापर RIC बारें और उनके गिगिदी बमीन अरबाकर देसी पाप किसी वन नीचे नामद मा। प्रबर उसे अपनी पहली यो गई वो वा मुरार के साप हापियों से उपर मारावीमा में प्रविप्रा मोरंग में मुरारको बागी मन्नद पर बैठास और सामने सोहोर महराते हुए मा~"मुशारक बपिनार, नारी पारा पाना दिन है।" इसके बाद उसमे तीन बार निय पोरापोमवसे एका गया। पसरवाद सलीमार बानीवार्य भाई और उसे पाइप हनामाश्यमार बरे पाबम बना दिया गया। इस बार पोरंगमेव सुमे हुए विस्त सेब और पारे पाप सह पमसी और मूल भाई मन बनाने पोर पयामदियों कोपावो में हममेको कोई रसम भारमा मारमा परमे अपनी पानी में बहा । स चा वास वो अभी उसपर भारी बिम्मेदारियों की। उसमे अफसरों को शाप की जननी और मान मा, खोप, लोमे, सबाना, मोहापामाइप टूट-पारस मे ममेको निस्पा मोर माना उतने ही शिाम परमे और पाम मनाने की भागदी पिरमा अपने जीमें पर पूरे पारे श्रमबम र सा उसमे चला गया। उधे पर से मास्तपूर्व हिलमे थे और मदत मागुरु महजों पर गौर करना था। मगरको माग परिवर्मन रमेवानी मासिक तीन परेती में सम रोमा। गाली सेना मोर के नौ रामपूर्व और सपी मुसलमान उपम पाभिधरी मारे गए। पारनामों के विवारीपरमात मी अपमे मान्दो समेत पहीद है। ईगनियों और उसके विपरोपने बारे पुणे विजेता पलम उस मी र पुर में श्रम प्राया। माग सेना प्रमाण पापिभी मा-मामी-4 मी