वर्तमान प्रकाश पर न भूलना परिणाम पर दृष्टि करना सावधानी का साधारण काम है और इसी से सावधानता पहचानी जाती है.”
“आपने अपनी सावधानता जताने के लिये इतना परिश्रम करके सावधानी का वर्णन किया इस लिये मैं आपका बहुत उपकार मानता हूं” लाला मदनमोहन ने हंस कर कहा.
“वाजबी बात कहने पर मुझको आप से ये तो उम्मीद ही थी.” लाला ब्रजकिशोर ने जवाब दिया, और लाला मदनमोहन से रुखसत होकर अपने मकान को रवाना हुए.
एकै साधे सब सधै सब साधे सब जाहिं
जो गहि सींचै मूलकों फूलैं फलैं अघाहिं
कबीर.
"लाला ब्रजकिशोर बातें बनाने में बड़े होशियार हैं परंतु आपने भी इस समय तो उनको ऐसा मंत्र सुनाया कि वह बंद ही हो गए।" मुन्शी चुनीलाल ने कहा.
“मुझको तो उनकी लंबी चौड़ी बातों पर लुक्मान की वह कहावत याद आती है जिसमें एक पहाड़ के भीतर बड़ी गड़- गड़ाहट हुए पीछे छोटी-सी मूसी निकली थी” मास्टर शिंभू दयाल ने कहा.