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भारतवर्ष के लुटेरे और उनकी दीन दशा

जितना अधिक व्यय पुलिस विभाग में गवर्नमेंट कर सके उतना ही अच्छा है। क्योंकि इन्हें सन्तुष्ट रखने से प्रजा सुखी होगी। इनकी लालच कम हो जायगी और फिर यह उन सहस्र प्रजा दुःखकारी उपायों को जो धनोपार्जन के उद्देश्य से करते हैं छोड़ देंगे, प्रत्येक कान्सटेबिल को १५) मासिक से कभी कम मिलना उचित नहीं है। और इनके डेड़ों को ४५) और इसी प्रकार ऊपर वालों का भी वेतन बहुत अधिक बढ़ा देना उचित है। और विभागों में गवर्नमेण्ट व्यय घटाने का यत्न कर सकती है, पुलिस में सदैव बढ़ाने का यत्न करना उसे उचित है। यदि उसे प्रजा के सुख की कुछ भी चिन्ता हो तो उसे उचित है। कि पुलिस के सुधार पर अधिक ध्यान दे। और यह बिना अधिक व्यय किए और प्रकार किसी रीति से नहीं हो सकता।