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पृष्ठ:यंग इण्डिया.djvu/२२३

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सत्याग्रह आन्दोलन


समझकर तब आप पुनः सत्याग्रह आन्दोलनमें हाथ लगाइयेगा,और उन्हींकी बातोंपर मैंने आन्दोलनको स्थगित भी किया।

प्रश्न——अहमदाबादके लोगोंपर जो अर्थदण्ड लगाया गया है उसके बारेमें आपकी क्या राय है?

उत्तर——अर्थदण्ड लगानेका तरीका एकदम खराब है। उसके वसूल करने का जो समय रखा गया है वह और भी खराब है। जिस तरहसे ये जुर्माने वसूल किये जा रहे हैं उनको देखकर दिल और भी घबरा उठता है। किसी किसी अवस्था में तो ऐसे लाग भी इसके शिकार बना दिये गये हैं जिनसे इस दुर्घटनासे कोई किसी तरहका संबंध तक नहीं था। जो लोग अर्थदण्डसे बरी कर दिये गये हैं उनके बारेमें मुझे कुछ नहीं कहना है और न मैं यहांपर अधिकारियोंके अधिकारके विषयमें ही कुछ कहना चाहता हूं। हाँ, मैं अहमदाबादके कलक्टरको प्रशंसा किये बिना नहीं रह सकता क्योंकि उन्होंने पूर्ण योहतासे काम लिया और अवसरके अनुकूल काम किया।

पण्डित जगत नारायणकी जिरह

प्रश्न——महात्माजी, यदि सरकार अराजकता दबाने के लिये सैनिक बलका प्रयोग कर रही हो तो आप उसका विरोध करेंगे?

उत्तर——कभी भी नहीं, पर अराजकताके अभियोगोंकी जांच भी तो साधारण फौजदारी कानून के अन्तर्गत हो सकती है?

प्रश्न——ऊपरकी बात जब आप स्वीकार करते हैं तब फिर आपने रौलट कानूनोंका विरोध क्यों किया?