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पृष्ठ:संगीत विशारद.djvu/५८

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  • सङ्गीत विशारद *

- पश्चिमी हिन्दुस्थानी में स्वर उनके स्वर नाम पश्चिमी हिन्दुस्थानी आंदोलन आंदोलन संख्या संख्या (मंजरीकार) २७० २८८ २८८ ३०० ३०१३ सा (अचल) रे कोमल रे तीव्र ग कोमल ग तीव्र म कोमल में तीव्र (अचल) ध कोमल ध तीव्र नि कोमल नि तीव्र सां (तार) ३२० ३३७३ ३६० 0 ४०० ४०५ ४३२ ४८० उपरोक्त नकशे से यह स्पष्ट है कि पश्चिमी विद्वानों द्वारा निर्धारित किये हुए रे कोर ग तीव्र, म तीव्र ध कोमल, ध तीव्र तथा नि तीव्र इन ६ स्वरों के आन्दोलन मंजरीः अथवा हिन्दुस्थानी सङ्गीत पद्धति के आंदोलनों से मेल नहीं खाते । केवल सा अचल, रेत ग कोमल, म कोमल, प अचल और नि कोमल के स्वरान्दोलन ही हमारी पद्धति से ठीक-ट मिलते हैं। नोट:-कुछ सङ्गीत विद्वानों का मत है कि अंग्रेजी स्वरों में से E को सामान ही सप्तक कायम करनी चाहिये ।