सामग्री पर जाएँ

पृष्ठ:सम्पूर्ण गाँधी वांग्मय Sampurna Gandhi, vol. 11.pdf/३२४

विकिस्रोत से
यह पृष्ठ अभी शोधित नहीं है।
२८८
सम्पूर्ण गांधी वाङ्मय

मेरी उमीद है के आप सब अब राजी' होवेंगे और भी मणीलालजीकी अच्छी तरह् बरदास करोगे। उनका रहना अन खानेका बंदोबस्त वहाँके लोगोंने हाल तुरतमें करना चाहीये।

सब भाइओंको उत्तेजन मीलेगा तो अवश्य मी० मणीलालजी वहाँ स्थायी बनेंगे। फेर कुछ लिखना होगा तो लिखना।

मोहनदास गांधीके यथायोग्य

गांधीजीके स्वाक्षरोंमें मूल हिन्दी प्रति (जी० एन० २५५३) की फोटो - नकलसे ।


२४७. पत्र : गो० कृ० गोखलेको

टॉल्स्टॉय फार्म

लॉली स्टेशन

ट्रान्सवाल

जुलाई २८, १९१२

प्रिय श्री गोखले,

आपका तार पाकर हर्ष हुआ। सभी आपके यहाँ आनेकी तारीखके बारेमें पूछ रहे हैं। आशा करता हूँ कि आप हम लोगोंके बीच कमसे कम एक महीना रहेंगे। सभी प्रमुख नगरोंके भारतीय संघ आपको अपने यहाँ बुलानेके लिए बहुत उत्सुक हैं।

यदि आपके साथ आपके सचिव या अन्य कोई सज्जन आ रहे हों तो कृपया सूचित करें।

यह कहने की आवश्यकता नहीं कि दक्षिण आफ्रिका में सर्वत्र आपका बहुत हार्दिक स्वागत होगा।

आशा है, इस यात्रासे आपके स्वास्थ्यको बहुत लाभ पहुँचा होगा। जब कुमारी पोलकसे यह मालूम हुआ कि डॉक्टरोंने आपपर यह पाबन्दी लगा दी है कि आप फिलहाल कुछ दिन किसी आगन्तुकसे भेंट न करें, तब मैं चिन्तित-सा हो उठा था ।

हृदयसे आपका,

मो० क० गांधी

[गो० कृ० गोखले

इंग्लैंड ]

गांधीजीके स्वाक्षरोंमें मूल अंग्रेजी प्रति (जी० एन० ३७७२) की फोटो नकलसे ।

१. स्वस्थ

२. और

३. जुलाई २५, १९१२ का तार । उन्होंने इस तार द्वारा सूचित किया था कि वे ५ अक्तूबरको रवाना होनेवाले हैं ।