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२८८. भाषण: उत्तरसंडामें[१]

उत्तरसंडा
जून ३. १९१८

मामलतदारका आदेश आपने सुन लिया। यह आदेश हमारी बातचीतके परिणामस्वरूप जारी किया गया है। कुछ दिन पूर्व जब मैं कलक्टरसे मुलाकात करने गया था तब मैंने उक्त आदेशका सुझाव दिया था। मैंने उन्हें बताया था कि यदि वे मेरे सुझावोंपर अमल करेंगे तो संघर्ष शीघ्र समाप्त हो जायेगा। अब मामलतदारने इस प्रकारका आदेश जारी कर दिया है। हमारे संघर्षकी पहली शर्त यह थी कि जिस दिन गरीबोंसे लगान वसूली स्थगित कर दी जायेगी उस दिन जो लोग लगान देनेमें समर्थ हैं, वे तुरन्त लगानकी सारी रकम अदा कर देंगे। प्रारम्भ में सरकारने दुराग्रह किया और कहा कि ऐसा नहीं हो सकता। सरकारका कहना था कि उसने जो लगान निश्चित किया है उसे ठीक समयपर अदा करना ही पड़ेगा। मामलतदारके आदेशका आशय यह है कि आप में से जो लोग लगान अदा कर सकते हैं, वे उसे अदा कर दें और जो लोग वस्तुत: अदा करने में असमर्थ हैं, उनका लगान स्थगित कर दिया जायेगा। इस तरह सरकारको लगान मिल जायेगा लोगोंका आत्म-सम्मान कायम रहेगा और वे अपने प्रणके प्रति भी सच्चे रहेंगे। हमें इस कृपापूर्ण आदेशके लिए मामलतदारको धन्यवाद देना चाहिए; किन्तु यह किस प्रकार? आदेशका वास्तविक अर्थ समझकर, अर्थात् आगा-पीछा किये बिना अपनी लगानकी रकम अदा करके हम ऐसा कर सकते हैं। आपमें से जो लगान अदा करने में समर्थ हैं उन्हें आज या कल उसे जरूर अदा कर देना चाहिए और उन लोगोंकी एक सूची तैयार कर लेनी चाहिए जो लगान अदा करने में असमर्थ हैं। आपको अपने तलाटीको विश्वास दिलाना होगा कि उस सूचीमें शामिल व्यक्ति वास्तवमें गरीब हैं। इसके बाद मामलतदार उनका लगान स्थगित करनेके लिए आदेश जारी कर देगा। मुझे आप लोगोंसे...[२] करनी है, वह यह कि जो लोग लगान अदा कर सकते हैं उन्हें गरीबोंकी सूची में शामिल न करें। उन्हीं लोगोंको सूचीमें लें जो लगान अदा करनेके लिए साहूकारसे ब्याजकी ऊँची दरपर कर्ज लेने अथवा अपने मवेशी या गहने बेचनेके लिए मजबूर होंगे। इस तरहके लोगोंकी सूची जितनी छोटी होगी हमारे लिए वह उतनी ही श्रेयस्कर होगी। जो लोग समर्थ हैं और जिन्हें अपने वादेके अनुसार लगान अदा करना ही चाहिए, वे यदि ऐसा नहीं करते तो दुनिया उनपर हँसेगी। इसलिए हमें

  1. बिहारसे लौटनेके बाद गांधीजी श्री वी० जे० पटेलके साथ नडियादसे तीन मील स्थित उत्तरसंडा गाँव गये। तलाटीने मामलतदार (तहसीलदार) का इस आशयका आदेश पढ़कर सुनाया कि गाँवके धनिक किसान तो लगान अदा कर दें, किन्तु गरीव खातेदारोंके लिए अगले वर्षंतक लगान स्थगित कर दिया जायेगा। इसके बाद गांधीजीने सभामें भाषण दिया।
  2. यहाँ कुछ शब्द छूटे हुए हैं।