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'गीता-शिक्षण

ईसाके पूर्व छठवीं शताब्दीमें लीडियामें कीसस नामका एक राजा हुआ है। उसके पास अपार धन था। एक बार ग्रीसका सन्त पुरुष और स्मृतिकार सोलन' उससे मिलने गया । तब राजाने उससे पूछा कि क्या मुझसे भी बढ़कर कहीं कोई सुखी है। सोलनने जवाब दिया : कोई व्यक्ति सुखी था या नहीं यह तो तभी कहा जा सकता है जब वह मरण प्राप्त कर ले। इसी क्रीसस राजापर ईरानके राजा साइरसने चढ़ाई की और उसे पराजित कर दिया। उसने क्रीससको मृत्युदण्ड दिया। जब क्रीसस फाँसीके लिए ले जाया जा रहा था, तब उसने तीन बार सोलनका नाम लिया। साइरसने इसका कारण पूछा और क्रीससने उसे सोलनका जवाब कह सुनाया। साइरसने उसे मुक्त करके अपना मन्त्री बना लिया। मरते समय साइरस अपने बेटे- को उसके हाथमें सौंप कर गया। इस तरह व्यक्तिकी सद्गति हुई है अथवा नहीं, यह हम उसके मरनेके बाद ही कह सकते हैं ।

आगे परमपुरुषका वर्णन किया गया है। वह सबको उत्पन्न करनेवाला है; उसका रूप अचिन्त्य है; उसे केवल योगी ही ध्यानमें देख पाते हैं; वह आदित्यवर्ण अर्थात् सूर्यकी तरह नित्य चेतन और प्रकाशरूप है तथा वह अन्धकार रूपी अज्ञानसे परे है। यह कितना सूक्ष्म और विराट् होगा इसका विचार करते हुए हमारी बुद्धि काम नहीं देती। ऐसे परमपुरुषको जो प्रयाणकालमें अचल मनसे भक्ति तथा योगबल- के द्वारा स्मरण करता है वह कोई भी उपाय अथवा उपचार अथवा औषधिको स्वीकार नहीं करता । वह मुँह बन्द कर लेता है, आँखें बन्द कर लेता है और समझता है कि मैं जहाँ जा रहा हूँ वहाँ अन्धकार नहीं है, सुख-दुःख नहीं है। मुझे उसी प्रदेशमें पहुँचना है। अचल मन उसीका हो सकता है, जो भक्तिसे युक्त है और जिसे अपने अनेक जन्मोंकी साधनाओंका बल प्राप्त है तथा जो भौंहोंके बीचमें प्राणको पूरी तरह स्थापित करके चिन्तन कर रहा है। ऐसा व्यक्ति परमदिव्य पुरुषको प्राप्त करता है ।

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गुरुवार, ५ अगस्त, १९२६
 

यदक्षरं वेदविदो वदन्ति विशन्ति यद्यतयो वीतरागाः ।

यदिच्छन्तो ब्रह्मचर्यं चरन्ति तत्ते पदं संग्रहेण प्रवक्ष्ये ।। (८, ११)

वेदको जाननेवाले व्यक्ति जिसे अक्षर कहते हैं, वीतराग यतिगण जिसमें प्रवेश करते हैं और जिसकी इच्छा करनेवाले व्यक्ति ब्रह्मचर्यका पालन करते हैं, मैं उस परमपदको तेरे समक्ष संक्षेपमें प्रस्तुत करूँगा ।

सर्वद्वाराणि संयम्य मनो हृदि निरुध्य च ।

मूर्त्याधायात्मनः प्राणमास्थितो योगधारणाम् ॥ (८,१२)

१. (६३८-५५८ ई० पू०) एथेन्सका राजनयिक और कवि। हेरोडोटसने इस वार्तालापका विवरण दिया है।