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पत्र: खानचन्द ऐदास आर० कोबको

है। राजगोपालाचारी प्रमुख जेलर जैसे हैं और जहाँतक इस प्रान्तका सम्बन्ध है, उन्हें ही यहाँ मेरी अन्तिम रूपसे व्यवस्था करनी है। यदि सेलम भी यात्राकी सूचीमें है, तो जहाँतक मेरा बस चलेगा, मैं निश्चय ही आपका आतिथ्य स्वीकार करना चाहूँगा । और यदि सेलम यात्राकी सूचीमें नहीं है, तो आप उसे इस सूचीमें आसानीसे शामिल कर सकते हैं। इसके लिए आपको सेलममें अपने असंख्य मित्रोंसे लाखों निरीह लोगोंके लिए अच्छी खासी रकम जमा करनी होगी ।

मुझे बिलकुल पता नहीं था कि कलकत्ताके यूरोपीय एसोसिएशनने ऐसा मूल प्रस्ताव पास किया है, जैसा कि आपने बयान किया है।

हाँ, यद्यपि मैं इसे न्यायसंगत नहीं सिद्ध कर सकता, फिर भी में ऐसा महसूस जरूर करता हूँ कि इस जाहिरा अराजकताके पीछे एक ऐसा सुन्दर क्रम विकसित हो रहा है कि हमारा देश सदाके लिए हेय नहीं रहेगा ।

हृदयसे आपका,

श्रीयुत सी० विजयराघवाचारियर

फेयरीफाल्स व्यू
कोडाईकनाल ओब्सवेंटरी डाकखाना

कोडाईकनाल हिल्स
अंग्रेजी (एस० एन० १२५८६) की फोटो-नकलसे ।

४१३. पत्र : खानचन्द ऐदास आर० कोबको

नन्दी हिल्स
३१ मई, १९२७

प्रिय मित्र,

आपका १५ अप्रैलका पत्र जो पता बदलकर मेरे पास भेज दिया गया था, मिल गया है। इसके लिए मैं आपको एवं दान देनेवाले लोगोंको धन्यवाद देता हूँ। आपने किसी विशेष कार्यका उल्लेख नहीं किया, जिसमें संग्रह किया हुआ धन लगाया जाये । इसलिए जबतक आप इसके विपरीत कुछ और न लिखे तबतक इस धनका उपयोग सत्याग्रहाश्रम प्रबन्धक मण्डलके निर्णयानुसार खादी, अस्पृश्यता या गोरक्षा कार्यों में से जिस कामके लिए सबसे अधिक आवश्यकता होगी, किया जायेगा । कृपया उत्तरमें एक पंक्ति अवश्य लिखियेगा ।

आपका,

श्रीयुत खानचन्द ऐदास आर० कोब

अंग्रेजी (एस० एन० १४१३९) की माइक्रोफिल्मसे ।

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