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पत्र : अ० भा० च० संघके मन्त्रीको


क्या तुम मीराको पत्र लिखती हो ? यदि नहीं, तो अब जरूर लिखना । उसका पता है: भगवद्भक्ति आश्रम, रामपुर, रिवाड़ी (जिला गुड़गांव) ।

सबको सस्नेह,

तुम्हारा,
बापू

कुमारी रेहाना तैयबजी

साउथ वुड

मसूरी
अंग्रेजी (एस० एन० ९६०२) की फोटो-नकलसे ।

४३४. पत्र : अ० भा० च० संघके मन्त्रीको

नन्दी हिल्स
३ जून, १९२७

मन्त्री

अखिल भारतीय चरखा संघ
मिर्जापुर

अहमदाबाद
महोदय,

जमनालालजीको परिषद्का कार्यकारी अध्यक्ष बनानेके सम्बन्धमें प्रस्तावकी वैधताके कुछ अनिश्चित रहनेकी अवस्थामें में अध्यक्षकी हैसियतसे यह प्रक्रिया सुझाऊँगा कि जो भी चीज करवाने की जरूरत है, उसपर पहले जमनालालजीकी उसी तरहसे सम्मति ले ली जाये मानो वे वैध रूपसे कार्यकारी अध्यक्ष हों और फिर उसके बाद उनका निर्णय मेरे सामने औपचारिक और अन्तिम अनुमोदनके लिए रखा जाये । इससे हर मामलेके गुण-दोषकी आलोचना करके जाँचनेका मेरा काम बच जायेगा । स्वीकृति मिल जानेकी पूर्वाशामें महाराष्ट्र एजेन्सीको में दस हजार रुपये दे देनेके सम्बन्धकी बातका पूरी तरह समर्थन करता हूँ। और उसी तरह निपाणी, बेलगाँव, और अन्य जगहोंपर मैंने जो चन्दा पहले ही इकट्ठा किया है, उसे भी कर्नाटक एजेन्सीको दे देनेके सुझावका अनुमोदन करता हूँ । मैं समझता हूँ कि आपको, जमनालालजी तथा अन्य लोगोंको आगामी प्रदर्शनीके समय या उससे पहले जो भी तारीख सुविधाजनक लगे, उस तारीखको बंगलोरमें परिषदको बैठक करना बिलकुल उचित बात है। में रविवारको नीचे बंगलोर जा रहा हूँ। मैं समझता हूँ कि मेरे ठहरनेके लिए जिस राजभवनका प्रबन्ध किया गया है, उसमें बहुत काफी स्थान है।

आपका विश्वस्त,

अंग्रेजी (एस० एन० १९७७८) की माइक्रोफिल्मसे ।