पृष्ठ:सम्पूर्ण गाँधी वांग्मय Sampurna Gandhi, vol. 37.pdf/२६७

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२६३. तार: मोतीलाल नेहरूको[१]

[३१ अगस्त, १९२८]

तार मिला। भगवान्का लाख-लाख शुक्र है। भगवान् करे आप अद्भुत बुद्धिमत्तासे प्राप्त अपनी इस सफलताको हमारे उद्देश्यके अन्तिम सोपान तक ले जा सकें।

गांधी

अंग्रेजी (एस॰ एन॰ १३६७८) की फोटो-नकलसे।

 

२६४. पत्र: हरदयाल नागको

सत्याग्रहाश्रम, साबरमती
३१ अगस्त, १९२८

प्रिय मित्र,

आपके पत्र मिले। बहुत ज्यादा काम होनेकी वजहसे ही मैं आपको इससे पहले नहीं लिख सका।

मैं आपके सुझावके महत्त्वको समझता हूँ। लेकिन मेरा निश्चित विश्वास है कि यदि वल्लभभाई कांग्रेस अध्यक्ष चुने जाते तो उनका इस पदसे मेल नहीं बैठता। और घटनाओंसे यह सिद्ध हो रहा है कि पण्डित मोतीलाल नेहरूको ही चुननेमें सबसे अधिक समझदारी थी।

हृदयसे आपका,

श्रीयुत हरदयाल नाग
चाँदपुर

अंग्रेजी (एस॰ एन॰ १३५०३) की फोटो-नकल से।

 

  1. मोतीलालजी द्वारा भेजे गये ३१ अगस्तके तारके उतरमें। मोतीलालजी का तार इस प्रकार था: "हार्दिक बधाई। पूर्ण सफलता। सारी सिफारिशें स्वीकार कर ली गई हैं। प्रतिनिधित्व के सम्बन्धमें हिन्दू-मुस्लिम मतभेद समाप्त। पंजाब समस्याका समाधान हो गया। सिन्धके वारेमें हिन्दू और मुसलमान सहमत। दलोंका रुख अत्युत्तम। कल इलाहाबाद लौट रहा हूँ। ३ तारीखको शिमला रवाना हो रहा हूँ।"