पृष्ठ:सम्पूर्ण गाँधी वांग्मय Sampurna Gandhi, vol. 7.pdf/५३०

विकिस्रोत से
यह पृष्ठ जाँच लिया गया है।

 

अनुसूची 'घ'
प्रार्थनापत्र प्राप्तिकी स्वीकृति

……………………………१९०……………

सेवा में

………………………………

………………………………

………………………………

मुझे आपके द्वारा……………………………………………………………………की ओरसे १९०७ के एशियाई कानून संशोधन अधिनियम के अन्तर्गत दिये गये पंजीयनके प्रार्थनापत्रकी और उस प्रार्थनापत्रके समर्थन में पेश किये गये कागजातकी, जिनका ब्यौरा नीचे दिया है, पहुँच स्वीकार करनेका सम्मान प्राप्त है।

हस्ताक्षर…………………………………
कार्यालय…………………………………
कागजातका ब्यौरा:—

 

अनुसूची 'ङ'
प्रार्थनापत्र अस्वीकृति की सूचना

……………………………१९०……………

सेवा में

………………………………

………………………………

………………………………

चूंकि आपने (महीना)………………की तारीख………………को (स्थान)……………में वैध रूपसे ट्रान्सवालवासी एशियाइयोंकी पंजिकामें दर्ज किये जानेका प्रार्थनापत्र दिया था।

और चूंकि प्रार्थनापत्रपर विचार करने के बाद मुझे यह प्रतीत होता है कि आप ट्रान्सवालके वैध निवासी नहीं हैं;

इसलिए आपको इसके द्वारा सूचना दी जाती है कि मैं आपको ट्रान्सवाल्के वैध निवासीके रूपमें पंजीयित करना अस्वीकार करता हूँ और १९०७ के एशियाई कानून संशोधन अधिनियम के खण्ड पाँचके उपखण्ड (२) के अनुसार……………………आवासी न्यायाधीशके सम्मुख …………में ………………… की ……………… वीं तारीख, सन् १९०७ ……………………… को १० बजे दोपहरको उपस्थित होने और यह बतानेका निर्देश देता हूँ कि आपको उपनिवेशसे चले जानेकी आशा क्यों न दी जाये।

हस्ताक्षर…………………………………
एशियाई पंजीयक