पृष्ठ:हिंदी शब्दसागर भाग ४.pdf/५६६

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२२१४ दमजोका दमयंती की जाती है जिससे पाग सुलगती रहती है और जाली में दमन –समा स्त्री० [सं० दमयन्ती ] दे० 'दमयती'। उ०- से उसकी राख नीचे गिरती रहती है। दमनहि नलहिजो हुस मेरावा । तुम्ह हिरामन नावं कहावा। दमजोड़ा-सा पुं० [?] तलवार ।-(डि.)। --जायसी (शब्द०)। दमड़ा-सा पु० [हिं० घाम+श(प्रत्य॰)] रुपया। धन । दाम। दमनक-सका पुं० [सं०] १. एक छद का नाम जिसमें चीन नगण, --(धाजा)। ___ एक लघु पोर एक गुरु होता है । २. दौता । क्रि० प्र०-खर्धना। दमनकर...वि. दमन करनेवाला । दमनशील । मुहा०--दमड़े फरना = धेचकर दाम खडा करना। दमनशील-वि० [सं०] जिसकी प्रकृति दमन करने की हो। दमन दमड़ी-संवा स्त्री० [सं० द्रविण (= घन) या दाम +ड़ी (प्रत्य॰)] करनेवाला। १.4से का पाठवा भाग। दमना -क्रि० भ० [फा० दमथकना । दम लेना। उ०-फिरता विशेष--कहीं कहीं पैसे के चौथे भाप को भी दमदी कहते है। फिरता जी दमता है वाचा, कोन रखे तेरे उन कुजू!- मुहा०-दमड़ी कि तीन होना-पहत सस्ता होना । कौड़ियों दक्खिनी०, पृ० १५॥ मोल होगा। चमड़ी को बुलबुल टका हसकाई कम दाम दमना'-क्रि० स० [सं० दमन] दमन करना। वश में लाना। की चीज पर अन्य खचं अधिक पर जाना । 10-तिनक- दमना-सया पुं० [सं० वमनफ] द्रोणलता। दोना । उ०-मना कर कहा कइ । चमड़ी फी बुलबुल टका हसकाई हम अपने कमज्जरी शालिक परिमल ।-वणं, पु० २० । माप पी लेंगे।-फिसाना०, भा० ३,१०२२६ । दमनी-पक्ष सी० [सं०] एक प्रकार का क्षुर, जिसे पग्निदमनी २पित्तचिन पक्षी। दमथ-सक्षा ० [सं०] १ प्रात्मनियंत्रण या दमन। दम । दमनी-सहा सी. [२० दमन] सकोच । लज्जा। उ०-सील सनी तर २६ । सजा [को०] । सजनीन समीप गुलाब फल दमनी दरसावै। गुलाव (शब्द०)। दमथु-सचा पुं० [सं०] दे० 'दमप'। दमनीय-वि० [सं०] १ दमन होने के योग्य ! जो दमन किया जा दमदमा-सा पु० [फा. दमदमछ] १ वह किलेबंदी जो लडाई सके । २ जो दवाया जा सके। जो खडित किया जा सके। के समय थैचों या पोरों में धूल या बालू भरकर की जाती जो दबाकर चढ़ाया जा सके। 30-कुंवरि मनोहर विजय है। मोरचा । घुस। पति कीरति पति कमनीय । पावनहार विरचि जनु रचेतन क्रि० प्र०-धोधना। घनु दमनोय।-तुलसी (शब्द॰) । २ धोखा । जाल । फरेब । दिखावा (को०)। दमपुख्त-वि० [फा० दमपुख्त] (यह खाद्य पदार्थ ) जो दम देकर दमदमारे-सहा पु.फा. दमामह ] नगाड़ा । घौसा। उ०-उसफे पफाया गया हो। दहने दमदमा, वाएं उसी के बब है ।-सत तुरसी०, पृ. ४०। दमवाज-वि० [फा० दम+बाज] दम देनेवाला । फुसलानेवाला। दमदार-वि० [फा०] १. जिसमें जीवनी शक्ति यथेष्ट हो। जानदार। बहाना करनेवाला । २६ । मजवुत । ३ जिसमें दम या सांस मधिक समय तक दमवाजी-सशा सी० [फा० दम+वाजी] बहानेबाजी। दम देने या रह सफे। जैसे,—इस हारमोनियम की भाथी बहुत दमदार फुसलाने का काम । धोखेबाजी। है। ४ जिसकी धार बहुत तेज हो । चोखा। दमयंतिका-सश ली [सं० दमयन्तिका] मदनवान वृक्ष । दमन-सना पु० [सं०1१ दबाने या रोकने की किया। २ दह दमयती-सबा खी० [सं० दमयन्ती] राजा नल की स्त्री जो विदर्भ जो किसी को दबाने के लिये दिया जाता है। ३. इद्रियों की देश के राषा भीमसेन की कन्या थी । वि० दे० 'नल'। २ एक चचलता को रोकना । निग्रह । दम । ४ विष्णु । ५ महादेव । प्रकार का वेला । मदनवान । शिव । ६ एफ प्रापि का नाम । दमयती इन्हीं के यहाँ उत्पन्न दमयिता-सज्ञा पुं० [सं० वमयित १ दमन करनेवाला। दमकर्ता। हई थी। 8.--पटरानी सौ के मता, जे परिजन मछु साय। २ विवरण । ३ शिव [को०] । माश्रम गयो नरेश सब जहाँ मन मुनिनाथ ।--गुमान दमरक-तहा स्त्री॰ [देश०] दे० 'चमरक'। (शम्द०)। ७ एक राक्षस का नाम । उ०-दमन नाम निएचर प्रति घोरा । गर्जत भाषत वचन कठोरा ।-रामाश्व- दमरख-सना की. [देश॰] ३० 'चमरस'। उ.-कहिवान मटेरन मेध (शब्द०)। ८ दौना । ६ फुद। १० वष ! हनन टाट गजी, कहि दमरख चमरख तकला है। राम धर्म, (को०)। ११ रथ का चालक । सारपी (को०)। १२ योद्धा । पृ० ६२। युद्धकतम् । सैनिक (को०)। १३. हरिमक्तिपिलास में वर्णित दमरो।समा स्त्री॰ [हिं० दमड़ी] दे० 'दमी'। उ०-पैसा दमरी एक पूजनोत्सव जिसमें चैत्र शुक्ल द्वादशी को विष्णु को दौन। नाहि हमारे । केहि कारण मोहि राय हंकारे। कबीर सा०, समर्पित किया जाता है। पु०४८५१ दमन--वि०१ दमन करनेवाला । दमनकर्ता । २ बात [को०] 1 दमवंतोरा-समा स्त्री० [हिं० दमयंती] ३. 'दमयती'। उ०-सो