पृष्ठ:Songs and Hymns in Hindi.pdf/१६३

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मृत्यु और स्वर्गलोक। १५५ प्रासमान पर खुदा से है मेरी मीरास मैं करूंगा वहां मसीह की सिपास ॥ ४ जो श्यावे मुसीबत और ख़तरे और दुख आसमान पर मुझ दुखी को मिलेगा सुख जा रंज ओ मुसीबत है इस से क्या ग़म वह खुशियां पैदा कर रहे हर दम ॥ १५० एक सौ पचासवां गीत। १ जल्द मेरे दिन गुज़रते हैं मैं सफर करता जाता परदेस में होके जा बजा मैं राह का दुख उठाता हम खड़े हैं यरदन किनार और एक एक गुज़र जाता जलाल उस पार का बाजे वक्त इस पार तक नज़र आता ॥ २ मसीह बादशाह फ़रमाता है मशअल तुम सुधारो उस पार के मुलक में हम देखते हैं प्यारो अपना घर