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सम्पूर्ण गांधी वाङ्मय
समितिकी बैठक

ब्रिटिश भारतीय संघ ( ब्रिटिश इंडियन असोसिएशन) की समितिकी बैठक बुधवार तारीख ९ को हुई । उसमें श्री ईसप मियाँकी गैरहाजिरी में श्री इब्राहीम कुवाडियाने अध्यक्षता की । इमाम अब्दुल कादिर बावजीर, श्री फैन्सी, श्री करोड़िया, श्री उमरजी, श्री लछीराम, श्री वी० जी० महाराज आदि हाजिर थे । चूँकि श्री गांधीने कार्यालयका काम लगभग बन्द कर दिया है और श्री पोलक पूरी तरह सार्वजनिक काममें गुथे हुए हैं, इसलिए अगस्त से उनका [ श्री पोलकका ] खर्च तथा कार्यालयका किराया संघने अपने ऊपर लेनेका निर्णय किया है । ऐसा करने से टाइपिस्ट आदिके खर्च के अलावा फिलहाल संघका खर्च प्रति मास ३५ पौंड बढ़ गया है । श्री गांधीका सारा निजी खर्च श्री कैलेनबैंक उठाते हैं । वे रहते भी उन्हीं के साथ हैं ।

अहमद ईसप दाउद

कुछ महीने पहले श्री अहमद ईसप दाउदपर बिना परवाने (लाइसेंस) के फेरी लगानेका आरोप लगाया गया था । जब अदालत में उनका नाम पुकारा गया, तब वे कहीं बाहर गये हुए थे, इसलिए मजिस्ट्रेटने उनकी जमानत रद कर दी । बादमें श्री अहमद आ पहुँचे, किन्तु मजिस्ट्रेटने अधिकार न होनेके कारण जमानतके अपने हुक्ममें फेरफार नहीं किया । इसलिए अटर्नी जनरलको दरख्वास्त दी गई । उन्होंने जमानत वापस करनेका हुक्म किया और मुकदमा चलाने की आज्ञा दे दी। शनिवार ( तारीख १२ ) को मुकदमा चला, किन्तु श्री क्रॉसने यह कहकर मुकदमा खारिज कर दिया कि श्री अहमद तो बिना परवानेके फेरी करते थे । मुकदमा परवाना न दिखानेके बारेमें था, इसलिए वह लागू नहीं होता । इस मुकदमे में कोई सार नहीं है । देखनेकी बात इतनी ही है कि श्री मुहम्मद दाउद जेल जाना चाहते थे । उन्होंने जेल जानेके लिए ऊपरकी कोशिश की, किन्तु सजा नहीं मिली ।

प्रिटोरियाके मुकदमे

नगरपालिकाने प्रिटोरियाके प्रमुख श्री वली मुहम्मद बगस, श्री इस्माइल आडिया, श्री इस्माइल जुमा, श्री लालशाह वल्लभदास उर्फ मंगलभाई पटेल तथा एक चीनीपर बिना परवाना पंसारी (ग्रोसर) का व्यापार करने की बाबत मुकदमा चलाया है । उनके मुकदमे आज हैं ।' इसके लिए श्री गांधी प्रिटोरिया गये हैं । इनमें से कईके पास पूरे वर्ष के लिए सामान्य विक्रेता परवाना' है, किन्तु नगरपालिका उसके सिवा पंसारीके कारोबारका परवाना माँगती है । पिछले छ: महीनोंके सामान्य विक्रेता परवाना तो इनमें से कईके पास थे, किन्तु अब वे अँगूठेकी छाप देने से इनकार करते हैं और इसीलिए उन्होंने परवाने नहीं लिये । इसमें बचाव पक्षकी ओरसे दलील यह दी जानेवाली है कि नगरपालिकाको पंसारीका परवाना माँगनेका हक ही नहीं है । नगरपालिकाको दूसरे प्रकारका परवाना माँगनेका हक है, किन्तु फिलहाल वह उनके

१. पिछली बैठक में इस विषयपर विचार-विमर्श स्थगित कर दिया गया था; देखिए "जोहानिसबर्ग की चिट्ठी", पृष्ठ १४-१५ ।

२. देखिए पिछला शीर्षक भी ।

३. जनरल डीलर्स लाइसेन्स ।