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कहीं आपका मतलब श्रीमती प्रिया सिंह तो नहीं था?
  • हिन्दी-संसार इन कहानियों का आदर करके श्रीमती जी का उत्साह बढ़ायेगा। क्योंकि हिन्दी साहित्य भविष्य में भी श्रीमती जी की रचनाओं से गौरवान्वित होने की आशा...
    ४४३ B (१,४७९ शब्द) - २२:४६, ९ अगस्त २०२१
  • वेनिस का बाँका  (1928)  अनुवादक अयोध्या सिंह उपाध्याय 'हरिऔध' 157699वेनिस का बाँका1928अयोध्या सिंह उपाध्याय 'हरिऔध' [ परिचय ]लेखक का संक्षिप्त परिचय नरत्वं...
    ५०५ B (१,१३५ शब्द) - १४:४५, २१ नवम्बर २०२१
  • श्रृंगार लिखने में ही उनकी प्रतिभा ने अपनी हृदय-ग्राहिणी-शक्ति का विशेष परिचय दिया है। उद्धव सन्देश सम्बंधिनी कविताये, श्रीमती राधिका और गोपबालाओ के कथनोपकथन...
    ३११ B (५,४३२ शब्द) - १८:१२, २० दिसम्बर २०२१
  • उसके साहित्य का विकास द्वारा अयोध्या सिंह उपाध्याय 'हरिऔध' 155229हिंदी भाषा और उसके साहित्य का विकासअयोध्या सिंह उपाध्याय 'हरिऔध' [ १४४ ] अमीर खुसरो का...
    ८२० B (३,९४६ शब्द) - ०२:४२, ३० जून २०२१
  • उसके साहित्य का विकास द्वारा अयोध्या सिंह उपाध्याय 'हरिऔध' 155482हिंदी भाषा और उसके साहित्य का विकासअयोध्या सिंह उपाध्याय 'हरिऔध' [ २५४ ] गोस्वामी तुलसीदास...
    ७९० B (५,७३१ शब्द) - ०५:४२, १२ जुलाई २०२१
  • ⁠ओंकारनाथ को राय साहब की रचना-शक्ति में बहुत सन्देह था। उनका खयाल था कि प्रतिभा तो गरीबी ही में चमकती है दीपक की भाँति,जो अँधेरे ही में अपना प्रकाश दिखाता...
    २४९ B (१०,५०४ शब्द) - २०:५९, १३ जुलाई २०२१
  • [ ५४ ]ओंकारनाथ को रायसाहब की रचना-शक्ति में बहुत संदेह था। उनका ख्याल था कि प्रतिभा तो गरीबों ही में चमकती है दीपक की भांति, जो अंधेरे ही में अपना प्रकाश दिखाता...
    ३७९ B (१०,४५८ शब्द) - ०५:२३, २१ मई २०२१
  • दिखाई दिया । इन्हीं बातों के कारण एवं बिहारी की कोमलकांत पदावली और प्रशस्त प्रतिभा से प्रभावित होकर हमारा विचार हुआ कि सतसई का एक ऐसा संस्करण प्रकाशित किया...
    २७२ B (११,७२५ शब्द) - ०५:५५, ६ जुलाई २०२३
  • गन्धमें लिखता है कि ११ तारीख खुरदाद (जेठ सुदी १४) को श्रीमान् शाह खुर्रमको श्रीमती राजकुमारीको जिसे बादशाह बहुत प्यार करते थे बुखार चढ़ा। तीन दिन पौछे छाले...
    १२८ B (७४,४४७ शब्द) - १७:३०, १३ फ़रवरी २०२१